विकास भवन में मत्स्य पालन विभाग में इंस्पेक्टर आनंद कुमार कार्यरत है। आनंद के पास शामली का भी प्रभार है। शामली के बुटराडा गांव के निशांत ने अपनी माता बिमला देवी के नाम से मछली पालन तालाब के लिए आवेदन किया था। मछली पालन के लिए विभाग से पुरुष को 40 प्रतिशत और महिला को 60 प्रतिशत का अनुदान मिलता है।
किसान से मांगी थी 25 हजार की रिश्वत
किसान का आरोप है कि इंस्पेक्टर आनंद कुमार की ओर से योजना का लाभ देने के लिए 25 हजार रुपए की रिश्वत मांगी गई। निशांत ने इसकी शिकायत तीन दिन पहले सहारनपुर एंटी करप्शन टीम से की। मंगलवार को निशांत 15 हजार रुपए की धनराशि लेकर मत्स्य पालन विभाग में पहुंचा। यहां पर निशांत ने आनंद को कुछ दस्तावेज दिए। इस दौरान उसने पैसे देने का प्रयास किया, लेकिन आनंद ने कार्यालय में रिश्वत लेने से इनकार कर दिया। वह निशांत को लेकर विकास भवन के बाहर एक फोटो स्टेट की दुकान के पास पहुंचा। यहां आनंद ने निशांत से रिश्वत के 15 हजार रुपए लिए। इसी दौरान वहां पर पहले से मौजूद एंटी करप्शन टीम ने उसे रंगे हाथ रिश्वत लेते पकड़ लिया। एंटी करप्शन टीम आरोपी आनंद को लेकर थाना सिविल लाइन पहुंची और पुलिस को सौंप दिया। सहायक निदेशक मत्स्य व इंस्पेक्टर के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज
रिश्वत प्रकरण में सहायक निदेशक मत्स्य राजेलाल को भी जांच में आरोपी बनाया गया है। तालाब की सब्सिडी की किस्त 2,36,577 रुपए भुगतान की एवज में कार्यालय सहायक निदेशक मत्स्य की ओर से रिश्वत मांगी जा रही थी। मामले में सहायक निदेशक मत्स्य राजेलाल और इंस्पेक्टर आनंद कुमार के खिलाफ रिपोर्ट दर्ज की गई है।