रेलवे के मुताबिक, शंटिंग ऑपरेशन के दौरान लापरवाही बरतने की वजह से काशीद शेख बुरी तरह घायल हो गए। बताया जा रहा है कि हादसा तब हुआ जब सीनियर प्वाइंट्समैन शेख दो कोचों के बीच में उन्हें अलग करने के लिए खड़े थे। उधर, कर्मचारी संघों का आरोप है कि इस हादसे के लिए पश्चिम रेलवे जिम्मेदार है।
मिली जानकारी के मुताबिक 44 वर्षीय शेख पिछले कई सालों से वर्कशॉप में सीनियर प्वाइंट्समैन के तौर पर काम कर रहे थे। इस घटना से कारशेड के कर्मियों और अधिकारियों में मातम पसर गया है।
सूत्रों ने बताया कि शंटिंग करते समय कर्मचारी को कोच की दिशा को समझना होता है और उसी के अनुसार उस दिशा में उसे चलना या दौड़ना होता है। लेकिन संभावना जताई जा रही है कि शेख सही दिशा का अंदाजा नहीं लगा सके और ट्रेन की चपेट में आ गए। जब शेख के वॉकी-टॉकी से ट्रेन के चालक को कोई प्रतिक्रिया नहीं मिली तो वह ट्रेन से नीचे उतरा और उसने शेख को पहियों के नीचे पाया।
इस दुर्घटना के बाद कर्मचारियों ने अपनी सुरक्षा पर चिंता जताई और सवाल किया कि रेलवे सुरक्षा आयोग (सीआरएस) वर्कशॉपो का नियमित दौरा क्यों नहीं करता है। इससे पहले लोअर परेल वर्कशॉप में क्रेन गिरने की तीन घटनाएं हो चुकी है।