पश्चिमी रेलवे के मुख्य प्रवक्ता सुमित ठाकुर ने बताया कि शनिवार की रात लगभग 1 बजे नायगांव स्टेशन के पास ट्रांसजेंडरों द्वारा पथराव के बाद यह दुर्घटना हुई। दरअसल एक पत्थर क्रेन चालक की उंगली पर लगी। जिसके कारण उंगली में चोट लग गईं और क्रेन से नियंत्रण खो बैठा। इस बीच पश्चिम रेलवे लाइन पर मुंबई की तरफ से नायगांव स्टेशन आ रही उपनगरीय लोकल ट्रेन से क्रेन में लगी धातु का हुक टकरा गई।
नायगांव स्टेशन के प्लेटफॉर्म नंबर एक पर स्टील कॉलम लगाने का काम चल रहा था, और इसी स्टील कॉलम को उठाने के लिए क्रेन को बुलाया गया था। रेलवे प्रवक्ता ने कहा, “हाइड्रा क्रेन को इस काम के लिए रेलवे ट्रैक के समानांतर खड़ा किया गया था। सब कुछ ठीक चल रहा था लेकिन तभी अचानक ट्रांसजेंडरों द्वारा भारी पथराव किया गया, जिससे क्रेन के चालक के दाहिने हाथ के अंगूठे में चोट लग गई।
उन्होंने आगे कहा कि जब यह घटना हुई, तब विरार लोकल स्टेशन में प्रवेश कर रहा था। चूंकि क्रेन चालक कमलेश यादव को चोटें आईं, इसलिए उसे क्रेन को नियंत्रित करने में मुश्किल हुई और हाइड्रा हुक लोकल ट्रेन के अगले हिस्से के कांच के फ्रेम से टकरा गया। मोटरमैन मोहम्मद अफजल को मामूली चोटें आईं। उसका स्टेशन पर ही प्राथमिक उपचार किया गया। इसके बाद लोकल ट्रेन को खाली कर विरार कारशेड ले जाया गया। इस घटना से मोटरमैन कम्युनिटी अपनी सुरक्षा को लेकर चिंता जता रहा है।