मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे फिर से ठाणे शहर के कोपरी-पाचपाखाडी से चुनाव लड़ेंगे। उनके साथ अन्य मंत्रियों में गुलाबराव पाटील जलगांव देहात से, संजय राठौड़ दिग्रस से, अब्दुल सत्तार सिल्लोड से, दादा भुसे आउटर मालेगांव से, तानाजी सावंत परंडा से, शंभूराज देसाई पाटन से, उदय सामंत रत्नागिरी से और दीपक केसरकर से सावंतवाड़ी चुनाव लड़ेंगे. पूर्व मंत्री संदीपन भामरे की जगह उनके बेटे विलास भुमरे को पैठण से टिकट दिया गया है। वहीँ, सदा सर्वणकर को मुंबई के माहिम से मनसे प्रमुख राज ठाकरे के बेटे अमित ठाकरे के खिलाफ उतारा गया है।
वहीँ, पूर्व मंत्री अर्जुन खोतकर, जो 2019 के चुनावों में कांग्रेस के उम्मीदवार कैलाश गोरंट्याल से हार गए थे, उन्हें जलना से उम्मीदवार बनाया गया है। मुख्यमंत्री शिंदे के करीबी सहयोगी प्रताप सरनाईक को ओवाला-माजीवाडा से फिर से उम्मीदवार बनाया गया है।
शिंदे की शिवसेना ने अपनी पहली लिस्ट में लगभग उन सभी विधायकों को फिर से टिकट दिया है, जिन्होंने जून 2022 में उद्धव ठाकरे के खिलाफ विद्रोह में शिंदे का समर्थन किया था। इसके अलावा पहली सूची में मराठा और ओबीसी आरक्षण को लेकर चल रहे विरोध प्रदर्शनों के बीच सामाजिक संतुलन बनाने की भी पूरी कोशिश की गई है। शिवसेना ने अपने कई विधायकों के रिश्तेदारों को भी सियासी मैदान में उतारा है। इसमें राजापुर से मंत्री उदय सामंत के भाई किरण सामंत को टिकट दिया गया है। खानापुर से शिवसेना विधायक अनिल बाबर के निधन के बाद उनके बेटे सुहास बाबर को यहां से उम्मीदवार बनाया गया है। मुंबई उत्तर-पश्चिम से शिवसेना के लोकसभा सदस्य रवींद्र वाईकर की पत्नी मनीषा वाईकर को जोगेश्वरी (पूर्व) से मैदान में उतारा गया है, जबकि शिवसेना नेता और पूर्व केंद्रीय मंत्री आनंद अडसुल के बेटे अभिजीत अडसुल अमरावती जिले के दरियापुर से चुनाव लड़ेंगे। छत्रपति संभाजीनगर (औरंगाबाद) के लोकसभा सदस्य संदीपन भुमरे के बेटे विलास भुमरे पैठन से चुनाव लड़ेंगे।
बता दें कि सत्तारूढ़ महायुति ने 288 सदस्यीय विधानसभा चुनाव के लिए अभी तक सीट बंटवारे की घोषणा नहीं की है। रिपोर्ट्स के मुताबिक, बीजेपी 288 सीटों में से 156 पर, शिवसेना 78 सीटों पर और एनसीपी 54 सीटों पर चुनाव लड़ सकती हैं।
महाराष्ट्र की 288 सदस्यीय विधानसभा के चुनाव के लिए मतदान 20 नवंबर को होगा और वोटों की गिनती 23 नवंबर को होगी। नामांकन प्रक्रिया शुरू हो चुकी थी, जो 29 अक्टूबर तक चलेगी। मौजूदा विधानसभा का कार्यकाल 26 नवंबर को खत्म होगा।