मुंबई में जन्मे शकील शेख उर्फ छोटा शकील मोस्ट वांटेड आतंकी दाऊद इब्राहिम का प्रमुख सहयोगी है। शकील को दाऊद के सबसे भरोसेमंद सिपहसालार के रूप में जाना जाता है। वह पिछले तीन-चार दशकों से गिरोह की गतिविधियों को संभालने में प्रमुख भूमिका निभा रहा है।
NIA ने रखा 20 लाख का इनाम
छोटा शकील पर दाऊद के साथ मिलकर वैश्विक आतंकवादी नेटवर्क चलाने का आरोप है। वह दाऊद के इतना करीब था कि वह डी-कंपनी की गैरकानूनी गतिविधियां संभालता था। डी-कंपनी भारत में विभिन्न आतंकवादी व आपराधिक गतिविधियों में सीधे तौर पर शामिल रही है। छोटा शकील 1993 के मुंबई बम धमाकों के मुख्य साजिशकर्ताओं में से एक है। राष्ट्रीय जांच एजेंसी (एनआईए) ने भगोड़े माफिया डॉन दाऊद इब्राहिम कासकर पर 25 लाख रूपए और उसके करीबी विश्वासपात्र छोटा शकील पर 20 लाख रुपए का इनाम घोषित किया है। दाऊद को संयुक्त राष्ट्र ने ग्लोबल आतंकी भी घोषित किया हुआ है। जबकि भारत के अलावा अमेरिका ने भी उसे वैश्विक आतंकी माना है।
छोटा शकील दशकों से आतंकी गतिविधियों में शामिल हैं। इनमें हथियारों की तस्करी, ड्रग तस्करी, हवाला और टेरर फंडिंग जैसे अपराध भी शामिल हैं। उसके खिलाफ यूएपीए (UAPA) और मकोका (MCOCA) जैसे बेहद गंभीर मामले भी दर्ज हैं।
पाकिस्तान में बदला ठिकाना!
सुरक्षा एजेंसियों का मानना है कि छोटा शकील भी दाऊद की तरह ही पाकिस्तान के कराची में छिपा बैठा है। उसने कराची के क्लिफ्टन (Clifton) इलाके में अपना ठिकाना बनाया था। लेकिन कुछ रिपोर्टों का कहना है कि अब वह क्लिफ्टन से कहीं दूसरी जगह चले गया है। कई बार छोटा शकील के दाऊद से अलग होने की खबरें भी आईं, लेकिन खुद शकील ने इससे इनकार किया। इससे पहले दाऊद की भी निधन की खबर आई थी। एक बार शकील ने खुद अपने बॉस की मौत की खबर को खारिज कर दिया था। दाऊद 1993 मुंबई बम धमाके का मास्टरमाइंड है।
मुंबई से अंडरवर्ल्ड तक का सफर
छोटा शकील कभी दक्षिण मुंबई के नागपाड़ा (Nagpada) में कथित ट्रैवल एजेंसी चलाता था। 1980 के दशक की शुरुआत में शकील दाऊद के साथ जुड़ा और समय के साथ अंडरवर्ल्ड की दुनिया में बड़ा नाम बन गया। दिसंबर 1988 में राष्ट्रीय सुरक्षा अधिनियम के तहत छोटा शकील को गिरफ्तार कर लिया गया। जिससे वह बड़े संकट में पड़ गया। लगभग चार महीने जेल में बिताने के बाद उसे जमानत मिली। जिसके बाद वह चुपचाप भारत से भाग गया और दाऊद की गैंग से जुड़ गया। उसने भारत से जाने के बाद दुबई में अपना ठिकाना बनाया था।
कहा जाता है कि उसने कभी दाऊद को शिकायत का मौका नहीं दिया। जिस वजह से उसने दाऊद का विश्वास तेजी से हासिल किया। छोटा शकील उन मुट्ठी भर लोगों में से एक था, जिस पर डॉन आंख बंद करके भरोसा करता था। बहुत कम समय में वह दाऊद का सबसे बड़ा राजदार बन गया।
उसने दाऊद के साथ मिलकर भारत के सबसे बड़े आतंकी हमले मार्च 1993 का मुंबई सीरियल ब्लास्ट की योजना बनाई और उसे अंजाम दिया। इस सीरियल बम धमाके में 250 लोगों की मौत हुई थी। जिसके बाद भारत और वैश्विक दबाव के चलते उसने अपना ठिकाना पाकिस्तान में बनाया।