पुलिस के एक शीर्ष अधिकारी के मुताबिक, पाकिस्तानी सेना की मदद से आतंकवादी संगठन जम्मू-कश्मीर में नियंत्रण रेखा के साथ-साथ जम्मू और कश्मीर में भी ऐसे समय घुसपैठ की साजिश रच रहा है। उन्होंने बताया है कि पिछले साल 2020 में इस सीजन में 44 आतंकवादियों के घुसपैठ की खबरें आई थी, जबकि 2019 में 141 और 2018 में 143 आतंकवादियों ने जम्मू-कश्मीर में घुसपैठ की थी।
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अधिकारियों ने जानकारी दी है कि कई प्रमुख मार्गों को बंद किए जाने के साथ भारत की घुसपैठ रोधी ग्रिड की सफलता से क्षुब्ध होकर, पाकिस्तानी सेना ने 2020 में 5,100 संघर्ष विराम उल्लंघन किए। 2003 के बाद से सबसे अधिक संघर्ष विराम लागू हुआ।
PoK में 400 से अधिक आतंकी घुसपैठ को तैयार
एक अधिकारी ने कहा कि पाकिस्तानी अधिकृत कश्मीर (PoK) में विभिन्न लॉन्चिंग पैड्स में 300 से 415 आतंकवादी हैं, जो घुसपैठ की तैयार हैं। पीर पंजाल (कश्मीर घाटी) के उत्तर की ओर एलओसी के किनारे 175-210 आतंकवादी लॉन्च पैड में हैं। वहीं पीर पंजाल (जम्मू क्षेत्र) के दक्षिण में एलओसी क्षेत्र के विपरीत 119-216 आतंकवादी हैं।
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अधिकारियों ने बताया कि पाकिस्तानी एजेंसियां जम्मू और कश्मीर में सशस्त्र आतंकवादियों, हथियारों, गोला-बारूद और विस्फोटक सामग्री को भेजने के लिए सुरंगों का इस्तेमाल कर रही हैं। अधिकारियों ने बताया कि 2020 में पाकिस्तान के साथ सीमा रेखा के किनारे सात स्थानों पर नशीले पदार्थों के अलावा हथियार और विस्फोटक गिराए गए।
एक अन्य अधिकारी ने कहा कि 20 से अधिक घुसपैठ मार्गों की पहचान की गई है और सशस्त्र आतंकवादियों के प्रवेश को रोकने के लिए सुरक्षा ग्रिड को मजबूत किया गया है।