COVID-19: हरियाणा सरकार ने 10 से 17 मई तक जारी किया महामारी अलर्ट, लॉकडाउन से ऐसे होगा अलग
लक्षद्वीप के बाद, हरियाणा में 6.65 प्रतिशत कोविड टीकों की बर्बादी के साथ दूसरा सबसे बड़ा राज्य है, जिसके बाद असम (6.07 प्रतिशत) है। राजस्थान में कोविड के टीके का 5.50 प्रतिशत बर्बादी, पंजाब में 5.05 प्रतिशत और बिहार में कोविड के टीकों का 4.96 प्रतिशत बर्बादी दर्ज किया गया है। दादरा और नगर हवेली में (4.93), मेघालय (4.21 प्रतिशत), तमिलनाडु (3.94 प्रतिशत) और मणिपुर (3.56 प्रतिशत) कोविड टीका बर्बादी की सूचना दी।
कोरोना संकट के बीच जावेद अख्तर हुए ट्रोल, महाराष्ट्र सरकार की तारीफ में लिखी यह बात
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने खुद कोविड के टीके के बर्बादी के मुद्दे को बहुत गंभीरता से लिया और तीन दिन पहले अपने ट्विटर के माध्यम से लोगों से अनुरोध किया कि “कोविड -19 के खिलाफ लड़ाई को मजबूत करने के लिए वैक्सीन की बर्बादी को कम करें।” मोदी ने वैक्सीन के बर्बादी को कम करने के लिए केरल की प्रशंसा करते हुए कहा, “हमारे स्वास्थ्य कर्मचारियों और नर्सों को टीके के बर्बादी को कम करने में एक उदाहरण के रूप में देखने के लिए अच्छा है।”
स्वास्थ्य कार्यकतार्ओं के लिए 16 जनवरी को राष्ट्रव्यापी कोविड -19 टीकाकरण अभियान शुरू किया गया था। देश ने टीकाकरण अभियान का तीसरा चरण 1 मई को 18-44 वर्ष की आयु के लोगों के लिए शुरू किया था। आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, केंद्र ने अब तक राज्यों और केंद्रशासित प्रदेशों को 17.56 करोड़ से अधिक वैक्सीन खुराक (17,56,20,810) प्रदान किए हैं। इसमें से बर्बादी सहित कुल खपत 16,83,78,796 खुराक है। केंद्रीय स्वास्थ्य मंत्रालय के अनुसार कोविद -19 वैक्सीन खुराक की कुल संख्या 16,94,39,663 है।