Ambikapur-Renukoot rail line: अंबिकापुर-रेणुकूट रेल लाइन का संकल्प विधानसभा में पारित, लोगों ने मनाई खुशी
Ambikapur-Renukoot rail line: विधायक धर्मजीत सिंह ने विधानसभा में प्रस्तुत किया अंबिकापुर-रेणुकूट रेल लाइन को लेकर अशासकीय संकल्प, 30 मिनट तक इस विषय पर हुई चर्चा, विधायकों ने गिनाए इस रेलमार्ग के फायदे
अंबिकापुर. Ambikapur-Renukoot rail line: अंबिकापुर-रेणुकूट रेल लाइन को स्वीकृति दिलाने के प्रयास की कड़ी में एक और महत्वपूर्ण सफलता मिली है। दरअसल शुक्रवार को प्रदेश के विधानसभा सत्र में विधायक धर्मजीत सिंह ने अपने वादे के अनुरूप अंबिकापुर-रेणुकूट रेल लाइन (Ambikapur-Renukoot rail line) को लेकर अशासकीय संकल्प प्रस्तुत किया। इसमें केंद्र सरकार से अंबिकापुर को रेणूकूट तक रेल लाइन से जोडऩे का अनुरोध करने का जिक्र था। इस पर 30 मिनट की चर्चा हुई और सर्वसम्मति से इस अशासकीय संकल्प को पारित कर दिया गया।
चर्चा में विधायक धर्मजीत सिंह ने कहा कि इस रेल लाइन (Ambikapur-Renukoot rail line) के लिए सरगुजा के लोगों ने 150 किलोमीटर तक पदयात्रा कर आंदोलन की शुरूआत की थी। इसके बाद जनप्रतिनिधि भी इस मांग से जुड़ते गए और अपने स्तर पर केंद्र सरकार तक यह मांग पहुंचाने का कार्य किया है।
इस रेल लाइन के जुडऩे से ट्राइबल डॉमिनिटेड एरिया सरगुजा-सोनभद्र रीजन और बलरामपुर-बैकुंठपुर आदि क्षेत्र जो सरगुजा के हैं, उनको सीधी कनेक्टिविटी रेणुकूट को जोड़ देने के बाद कोलकाता, पटना, जबलपुर, बनारस, लखनऊ, अयोध्या सभी तरफ से उनको मिल सकती है।
इसके अलावा यह रेल लाइन राजस्व के हिसाब से भी काफी लाभदायक है। विधायक धर्मजीत ने अन्य कई लाभ इस रेल लाइन को लेकर गिनाए।
कम समय में किया जा सकता है इस रेलमार्ग का निर्माण
प्रतापपुर विधायक शकुंतला सिंह पोर्ते ने चर्चा में कहा कि उत्तर छत्तीसगढ़ के विकास के लिए महत्वपूर्ण, लाखों लोगों की जनभावनाओं से परिपूर्ण अंबिकापुर-रेणुकूट रेल मार्ग निर्माण के इस अशासकीय संकल्प का समर्थन करती हूं। इस रेल मार्ग के जुडऩे पर हमारे क्षेत्र के सामाजिक, सांस्कृतिक व व्यापारिक हितों को लाभ पहुंचेगा।
अनेक जनजातीय कलाकृतियों, वनोपज एवं स्थानीय उत्पादों को एक बड़ा बाजार मिल सकेगा। यह प्रस्तावित मार्ग अन्य वैकल्पिक मार्गों की तुलना में सबसे कम दूरी का, कम लागत वाला और अपेक्षाकृत अधिक उपयोगी होगा। इस मार्ग का निर्माण कम समय में बहुत आसानी से किया जा सकता है। कोल और बाक्साइट परिवहन की बेहतर संभावनाओं के कारण संयुक्त उपक्रम के रूप में विकसित होने के ज्यादा अवसर हैं।
छत्तीसगढ़ सरकार के उद्योग और श्रम मंत्री लखन लाल देवांगन, लुंड्रा विधायक प्रबोध मिंज, अंबिकापुर विधायक राजेश अग्रवाल सहित अन्य विधायकों ने भी चर्चा में भाग लिया। इस संकल्प के सर्वसम्मति से पारित होने पर शहर में लोगों ने घड़ी चौक पर आतिशबाजी कर खुशी मनाई।
इस अवसर पर मुकेश तिवारी, चंद्रशेखर तिवारी, कैलाश मिश्रा, विद्यानंद मिश्रा, पार्षद रिंकू वर्मा, वेदांत तिवारी, शिवेश सिंह, अजय तिवारी, सर्वजीत पाठक, राजेश मिश्रा, शिव शंकर सिंह, राघवेंद्र सिंह, योगेश सोनी, विनायक पांडे, अमित दीवान सहित अन्य लोग उपस्थित थे।
दक्षिण पूर्व मध्य रेलवे के क्षेत्रीय रेल उपयोगकर्ता परामर्शदात्री समिति के सदस्य मुकेश तिवारी ने इस उपलब्धि पर कहा कि हमारे समाज, परिवेश और राजनीति को जन सेवा का बल विधायक धर्मजीत सिंह जैसे निष्काम कर्मयोगियों से मिलता है।
उन्होंने सरगुजा की जन भावना को मुखरित करने का उत्तरदायित्व अपने ऊपर लेकर अंबिकापुर-रेणुकूट रेल लाइन निर्माण के अभियान को विधानसभा से संकल्प पारित कराकर इसे निर्णायक प्रभावी और सशक्त बना दिया है।
अंबिकापुर रेल लाइन का विस्तार रेणुकूट (Ambikapur-Renukoot Rail line) तक करने के संकल्पित पथ पर निरंतर बढ़ते हुए इस आंदोलन की जिजीविषा को विधानसभा में संकल्प पारित होने से नई ऊर्जा मिली है। अब सुनिश्चित हो चला है कि अंबिकापुर रेणुकूट रेल लाइन जल्द से जल्द धरातल पर मूर्त रूप लेगा।
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