भाजपा ने समर्थन वापस वापसी की ये बताई वजह
तीन साल तक पीडीपी को समर्थन देने के बाद अचानक से भाजपा ने जम्मू-कश्मीर की पीडीपी नीत सरकार से समर्थन वापसी की मंगलवार को घोषणा कर दी। इसका कारण भाजपा प्रदेश में महबूबा सरकार के साथ काम करने में नाकामी को बता रही है। अब यह पूरी तरह से साफ हो गया है कि पीडीपी में सरकार के गिरने के बाद राज्यपाल शासन लग जाएगा। यानी अब बीजेपी के हाथ में प्रदेश पूरी तरह से होगा। इसके पीछे घाटी में बढ़ती आतंकवाद की घटनाओं को भी बताया जा रहा है। बीजेपी प्रवक्ता राममाधव ने इसकी घोषणा भी कर दी है। केंद्र का आरोप है कि जम्मू और लद्दाख के विकास में बीजेपी के मंत्रियों को अड़चने आ रही थी। कई विभागों में काम के लिहाज से जम्मू और लद्दाख की जनता के साथ भेदभाव महसूस किया जा रहा था। भाजपा का आरोप है कि देश की अखंडता और सुरक्षा के व्यापक हितों को देखते हुए कश्मीर को देश का अखंड हिस्सा मानते हुए यह निर्णय लिया है। गौरतलब है कि तीन साल पहले यह सरकार बनी थी, उस समय खंडित जनादेश था। जम्मू इलाके में बीजेपी को 25 सीटें मिली थी तो कश्मीर घाटी में ज्यादातर सीटें पीडीपी को 28 सीटें मिली थी। चार महीने की कवायद के बाद दोनों दलों ने एक कॉमन मिनिमम प्रोग्राम बनाकर सरकार बनाया था, जो अब यह टूट चुका है।