बताया जा रहा है कि, मंडला के राधा कृष्णन वार्ड में भी फूड प्वाइजनिंग के कई मामले सामने आ चुके हैं। अचानक एकाएक फूड प्वाइजनिंग के मामले सामने आने के बाद कलेक्टर खुद बीमारों और उनके परिजन से हाल चाल जानने जिला अस्पताल पहुंची। यहां उन्होंने सभी को उचित इलाज देने के सीएमएचओ को निर्देश दिए। कलेक्टर ने जिले में फुल्की चाट पर जांच रिपोर्ट आने तक प्रतिबंध लगा दिया है।
जिले में शुरु हुआ फुल्की बेचने वालों का सर्चिंग अभियान
इसी के साथ कलेक्टर हर्षिका सिंह के निर्देश पर जिलेभर में फुल्की बेचने वालों की सर्चिंग अभियान भी शुरु कर दिया गया है। 21 और 22 अक्टूबर को फुल्की खाने से बीमार हुए लोगों के बताए अनुसार फुल्की बनाने वालों की सर्चिंग की जा रही है, जिसमें पाया गया कि रिलाइंस पेट्रोल पंप के पीछे 6-7 परिवार रहते हैं, जो मूलरूप से जालौन उरई उत्तर प्रदेश के रहने वाले हैं। ये लोग पूरे जिले में फुल्की, आईस्क्रीम आदि का मौसमी व्यवसाय करते हैं। पूछताछ में मकान मालिक के पास कोई पहचान पत्र भी नहीं मिले।
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