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सरकार ने इस योजना को शुरू कराया था, जो अब तकरीबन पूरा हो चुका है। 20 चौराहों पर यह सिस्टम काम कर रहा है, वहीं दो अन्य चौराहों पर भी जल्द ही यातायात पर आईटीएमएस की नजर रहेगी। इस प्रॉजेक्ट की लागत लगभग 47.74 करोड़ रुपये है। अक्टूबर 2021 में इस कार्य को प्रारंभ किया गया था। 17 जनवरी 2022 को मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ द्वारा इसके प्रथम चरण का लोकार्पण किया जा चुका है। यह कार्य स्मार्ट सिटी योजना के तहत कराया गया है।अयोध्या के 20 स्थानों पर आईटीएमएस प्रोजेक्ट शुरू हो गया है, जबकि न्यू बस अड्डा अयोध्या व एयरपोर्ट रोड (निर्माणाधीन) पर भी यह काम शुरू करने की योजना है, जिन जगहों से यातायात पर निगाहें रहेंगी, वे रिकाबगंज, सिविल लाइन, हनुमान गुफा, श्री राम अस्पताल, नया घाट, साकेत पेट्रोल पंप, देवकाली बाईपास, सुल्तानपुर बाईपास, रायबरेली बाईपास, सहादतगंज बाईपास, गुरु गोविंद सिंह चौराहा, पुलिस लाइन, टेढ़ी बाजार, उदया चौराहा, देवकाली तिराहा, गुदरी बाजार, पोस्ट ऑफिस चौराहा, नाका तिराहा, गुरु गोविंद सिंह, सहादतगंज हनुमानगढ़ी चौराहा, डीएम चौराहा हैं।
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यहां कार्य पूर्ण कर ट्रैफिक सिग्नल शुरू किए गए हैं। टेक्नोसिस सिक्योरिटी सिस्टम प्रा. लिमिटेड की तरफ से इस पर काम हुआ। वहीं अमानीगंज जलकल परिषद में बने अस्थायी कंट्रोल कमांड सेंटर से नजर रखी जा रही है। मंगल पांडेय चौराहे पर सर्वे कार्य किया जा रहा है। प्रोजेक्ट मैनेजर निखिल श्रीवास्तव ने बताया कि सिग्नल के साथ कैमरे भी लगाए गए हैं। यातायात को सुगम रखने के लिए यहां अनाउंसमेंट की भी व्यवस्था की गई है। इसके जरिए समय-समय पर लोगों को ट्रैफिक नियमों के बारे में जागरूक किया जा रहा है।14 स्थानों पर लगाए गए पब्लिक एड्रेस सिस्टम
योगी सरकार ने अयोध्या के 14 स्थानों पर पब्लिक एड्रेस सिस्टम लगाए हैं। इसके जरिए यात्रियों को समय-समय पर ट्रैफिक नियमों के बारे में जानकारी दी जाती है। सिग्नल के उल्लंघन पर मॉनिटरिंग रूम से चेतावनी भी दी जाती है। यही नहीं 20 स्थानों पर इमरजेंसी कॉल बॉक्स लगाए गए हैं। किसी भी आपातकालीन स्थिति में यह बॉक्स कंट्रोल रूम को सूचना भेज देगा। आपात स्थिति में इससे काफी मदद मिलेगी।