scriptनिकाय चुनाव से पहले जयंत को झटका, आरएलडी अब नहीं रही राज्यस्तरीय पार्टी, जानिए कैसे मिलता है ये दर्जा | RLD is not state party know how it gets this status | Patrika News
लखनऊ

निकाय चुनाव से पहले जयंत को झटका, आरएलडी अब नहीं रही राज्यस्तरीय पार्टी, जानिए कैसे मिलता है ये दर्जा

केंद्रीय चुनाव आयोग ने आरएलडी का राज्य स्तर की पार्टी का दर्जा छीन लिया है। आइए जानते हैं कि कैसे किसी पार्टी को राज्य स्तर का दर्जा मिलता है?

लखनऊApr 10, 2023 / 10:34 pm

Anand Shukla

jayant_chaudhary.jpg

चुनाव आयोग ने आरएलडी से छीना राज्य स्तरीय पार्टी का दर्जा

यूपी में निकाय चुनाव का बिगुल बज चुका है। यूपी की सभी राजनीतिक पार्टियां अपने प्रत्याशी को मैदान में उतारने की तैयारी में थी। इसी बीच जयंत चौधरी की पार्टी राष्ट्रीय लोक दल को बड़ा झटका लगा है। केंद्रीय चुनाव आयोग ने सोमवार शाम को आरएलडी से राज्य स्तर पार्टी का दर्जा छीन लिया है।
राष्ट्रीय लोक दल पार्टी की नींव पूर्व प्रधानमंत्री चौधरी चरण सिंह के बेटे पूर्व केंद्रीय मंत्री चौधरी अजीत सिंह ने रखी थी। इस समय पार्टी के राष्ट्रीय अध्यक्ष जयंत चौधरी है और पार्टी के राष्ट्रीय महासचिव गिरीश चौधरी हैं।
यह भी पढ़ें

आलू किसानों का दर्द: नहीं मिल रहा लागत भाव, दाम या स्टोरेज किसने बढ़ाई परेशानी?

यूपी विधानसभा में आरएलडी के हैं 9 विधायक

राष्ट्रीय लोक दल ने पिछले विधानसभा चुनाव में समाजवादी पार्टी के साथ गठबंधन करके चुनाव लड़ा था। पश्चिमी उत्तर प्रदेश में आरएलडी ने अच्छा प्रदर्शन किया था। यूपी में राष्ट्रीय लोकदल के 9 विधायक हैं। इनमें से राजपाल बालियान यूपी विधानसभा में विधानमंडल दल के नेता भी हैं। यूपी के अलावा रालोद राजस्थान की राजनीति में भी एक्टिव रहती है। राजस्थान की भरतपुर विधानसभा सीट से डॉ सुभास गर्ग रालोद के टिकट पर विधायक हैं।
कैसे मिलता है किसी पार्टी को राज्य स्तरीय दर्जा?

एक पंजीकृत पार्टी को एक राज्य पार्टी के रूप में तभी मान्यता दी जाती है जब वह नीचे सूचीबद्ध पांच शर्तों में से किसी एक को पूरा करती है।
1. एक पार्टी को राज्य विधान सभा के चुनाव में डाले गए वैध वोटों का कम से कम 6% सुरक्षित होना चाहिए और उस राज्य विधानसभा में कम से कम 2 सीटें जीतनी चाहिए।
2. एक पार्टी को लोकसभा के चुनाव में डाले गए वैध वोटों का कम से कम 6% सुरक्षित होना चाहिए और लोकसभा में कम से कम 1 सीट जीतनी चाहिए।

3. एक पार्टी को विधान सभा की कुल सीटों का कम से कम 3% या कम से कम तीन सीटें जीतनी चाहिए, जो भी अधिक हो।
4. एक पार्टी को उस राज्य को आवंटित प्रत्येक 25 सीटों या उसके किसी अंश के लिए लोकसभा में कम से कम एक सीट जीतनी चाहिए।

5. उदारीकृत मानदंडों के तहत, एक और खंड है कि यह राज्य पार्टी के रूप में मान्यता के लिए पात्र होगा यदि वह राज्य में डाले गए कुल वैध मतों का 8% या अधिक सुरक्षित करता है।

Hindi News / Lucknow / निकाय चुनाव से पहले जयंत को झटका, आरएलडी अब नहीं रही राज्यस्तरीय पार्टी, जानिए कैसे मिलता है ये दर्जा

ट्रेंडिंग वीडियो