राजस्थान कांस्टेबल भर्ती पर आया ये बड़ा अपडेट, अभ्यर्थी पहुंचे हाईकोर्ट
Rajasthan Police Constable: कांस्टेबल भर्ती पर भी कानूनी बादल मंडराने लगे हैं। शारीरिक दक्षता के बाद लिखित परीक्षा होनी है, उससे पहले ही कई अभ्यर्थी नियमों की अवहेलना बताते हुए हाईकोर्ट पहुंच गए हैं।
Constable Recruitment Update: कांस्टेबल भर्ती पर भी कानूनी बादल मंडराने लगे हैं। शारीरिक दक्षता के बाद लिखित परीक्षा होनी है, उससे पहले ही कई अभ्यर्थी नियमों की अवहेलना बताते हुए हाईकोर्ट पहुंच गए हैं। करीब तीन साल बाद हो रही इस भर्ती की रुकावट कोढ़ में खाज जैसी है। पहले भी एक याचिका के चलते प्रमोशन के साथ काफी संख्या में हैड कांस्टेबल/एएसआई के पद खाली पड़े हैं।
सूत्रों के अनुसार नागौर जिले में 104 कांस्टेबल व 11 ड्राइवर पद पर भर्ती होनी है। इसके लिए पिछले दिनों अजमेर में शारीरिक दक्षता/दौड़/फिटनेस आदि परीक्षा हुई। उसमें 1534 अभ्यर्थियों को लिखित परीक्षा के लिए चुना गया। लिखित परीक्षा की तिथि आना बाकी है। कुछ समय पहले तक लिखित परीक्षा के बाद शारीरिक दक्षता/फिटनेस/दौड़ आदि होती थी। अब इसे बदल दिया है, पहले फिटनेस/दौड़, उसके बाद लिखित परीक्षा।
सूत्र बताते हैं कि कुल 115 पदों में तीस फीसदी महिला अभ्यर्थी का चयन होना है। वर्तमान में नागौर जिले में कांस्टेबल के 159 पद रिक्त हैं। जिलेभर में कांस्टेबल के करीब 18 सौ पद हैं। कांस्टेबल के इन पदों पर भर्ती के लिए लंबे समय से प्रयास चल रहे थे। करीब पंद्रह दिन पहले ही अजमेर में इनकी भर्ती की प्रक्रिया हुई। इसमें 115 पद के लिए 1534 अभ्यर्थी को चुना गया।
पब्लिक बढ़ी पर पुलिस नहीं जानकारों की मानें तो समय के हिसाब से पब्लिक बढ़ती जा रही है। बावजूद इसके पब्लिक के अनुपात में पुलिसकर्मी नहीं बढ़ पा रहे। थाने बढ़े तो पुलिस का काम भी बढ़ा। इस बीच करीब पांच-छह साल से दायर एक याचिका के चलते कांस्टेबल/ हैड कांस्टेबल का प्रमोशन अटक गया। अभी भी आंकड़ों को देखें तो एएसआई तो दस फीसदी भी नहीं हैं।
योग्यता बढ़ाई पर उच्च योग्यताधारी पहुंचे कुछ समय पूर्व कांस्टेबल भर्ती के लिए योग्यता दसवीं के बजाय बारहवीं पास कर दी गई। यहां आलम इससे भी अलग नजर आया। अजमेर में शारीरिक दक्षता परीक्षा के दौरान आए कई अभ्यर्थी पोस्ट ग्रेजुएट/एमबीए/एमटेक तक थे। कुछ महिला अभ्यर्थी बीएससी तो पोस्ट ग्रेजुएट मिलीं। यानी शिक्षा के लिहाज से साठ फीसदी से ज्यादा अभ्यर्थी ग्रेजुएट थे।
सूत्र बताते हैं कि कुछ अभ्यर्थी इस मामले को हाईकोर्ट में चुनौती देने की तैयारी में हैं। उनका कहना है कि नियम के अनुसार तय पदों का पंद्रह गुना यानी 1725 अभ्यर्थी लिखित परीक्षा के लिए चुने जाने चाहिए थे, जबकि चुने गए 1534, यह नियम की अवहेलना है। इससे तय संख्या में आने वाले अभ्यर्थियों को मौका देने से वंचित किया जा रहा है। इसे लेकर वो याचिका दाखिल कर रहे हैं। ऐसे में पहले से ही दायर याचिका के चलते खाली पद/रुके प्रमोशन से पुलिस के हाल खस्ता हैं।
इनका कहना कांस्टेबल भर्ती को लेकर रिट संबंधी तो अभी कोई जानकारी नहीं मिली है। भर्ती में नियम-कायदों का पूरा ध्यान रखा है। सचिन मित्तल, एडीजी (भर्ती)