scriptराजस्थान के कई थाने चल रहे दूसरे थानों की सीमा में, थानों के चक्कर काटते-काटते परेशान हो जाते हैं पीड़ित | Many police stations in Rajasthan are running within the limits of other police stations, victims get tired of making rounds of the police stations | Patrika News
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राजस्थान के कई थाने चल रहे दूसरे थानों की सीमा में, थानों के चक्कर काटते-काटते परेशान हो जाते हैं पीड़ित

Rajasthan Police Station: बूंदी का सदर थाना जहां बना है, वह क्षेत्र कोतवाली थाना इलाके में है। ऐसे में थाना परिसर या फिर बाहर कोई भी घटनाक्रम होता है तो उसकी रिपोर्ट कोतवाली थाने में दर्ज होती है। इससे कार्रवाई में वक्त लगता है।

कोटाDec 27, 2024 / 02:42 pm

Akshita Deora

अंकितराज सिंह चंद्रावत
राजस्थान के कई थाने-चौकियां दूसरे थाना क्षेत्र की सीमाओं में चल रहे हैं। इससे बार-बार क्षेत्राधिकार की परेशानी आती है। किसी भी घटना या हादसे के समय त्वरित कार्रवाई में समय लगता है। जब तक संबंधित थाने तक सूचना पहुंचती है, तब तक कई बार आरोपी फरार हो जाते हैं या हादसे में घायल की हालत नाजुक हो जाती हैै। क्षेत्राधिकार के चक्कर में चाहकर भी दूसरे थाने की पुलिस कार्रवाई नहीं कर पाती। बूंदी और जयपुर के उक्त उदाहरण तो बानगी मात्र हैं, प्रदेश के कई जिलों में थाना क्षेत्र की परेशानी पुलिस व आमजन झेल रहे हैं।

फरियादी होते हैं परेशान

कई बार इन थानों के बाहर कोई घटनाक्रम या दुर्घटना होती है तो फरियादी अपनी रिपोर्ट लेकर थानों में जाते है तो पुलिस उन्हें दूसरे थाने में भेज देती है। इससे फरियादी काफी परेशान होते हैं। फरियादी ने नाम नहीं छापने की शर्त पर बताया कि उनके साथ में बूंदी सदर थाने के बाहर घटना हो गई थी। इसकी रिपोर्ट दर्ज कराने वह थाने गए तो उन्हें वहां से कोतवाली थाने भेज दिया। ऐसे में घटना के बाद फरियादी की परेशानी कम होने की जगह और बढ़ गई।
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यदि सदर थाना कोतवाली थाना क्षेत्र में बना हुआ है तो यह गलत है। उस क्षेत्र को सदर इलाके में जोड़ना चाहिए। सरकार को इस थाने के लिए नोटिफिकेशन जारी कर कोतवाली थाने से बाहर करना चाहिए। जब जाकर यह परेशानी दूर होगी। प्रदेशभर में यदि इस तरह के थाने संचालित हो रहे हैं, जल्द सुधार करके इस बारे में प्रकाशित करना चाहिए।
योगेन्द्र जोशी, रिटायर्ड एएसपी

केस 1: बूंदी का सदर थाना जहां बना है, वह क्षेत्र कोतवाली थाना इलाके में है। ऐसे में थाना परिसर या फिर बाहर कोई भी घटनाक्रम होता है तो उसकी रिपोर्ट कोतवाली थाने में दर्ज होती है। इससे कार्रवाई में वक्त लगता है।
केस 2: जयपुर का सांगानेर थाना इंडिया गेट जगह पर है। यदि वहां काई घटना होती है तो उसकी शिकायत थाना मालपुरा गेट में दर्ज होती है। दोनों थानों की दूरी करीब 2 किमी है। इससे त्वरित कार्रवाई में समय लगता है।
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बूंदी का सदर थाना जिस जगह पर चलता है, वह क्षेत्र बूंदी कोतवाली थाने के तहत आता है। ऐसे में थाना क्षेत्र में कोई घटना होती है तो उसकी रिपोर्ट कोतवाली थाने में दर्ज होती है। सदर थाने का इलाका उसकी बिल्डिंग से 500 मीटर दूर शुरू होता है। उमा शर्मा, एडिशनल एसपी, बूंदी

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