नए नियमों के मुताबिक आवेदन करने वाले छात्रों के नाम, जन्मतिथि, पता आदि जानकारी का सत्यापन आधार कार्ड में दर्ज जानकारी से किया जाएगा। इसके बाद ही आवेदन स्वीकार किए जाएंगे। इतना ही नहीं जेईई-मेन की रैंकिंग तैयार करने में इस बार बारहवीं बोर्ड के अंकों का वेटेज नहीं जोड़ा जाएगा। इस फैसले का असर यह होगा कि जेईई-मेन की ऑल इंडिया रैंक अब सिर्फ जेईई-मेन स्कोर के आधार पर ही बनाई जाएगी।
हालांकि एनआईटी, ट्रिपलआईटी एवं जीएफटीआई में प्रवेश के लिए छात्रों को बोर्ड पात्रता पूरी करनी होगी जो कि कैटेगिरी अनुसार अपने-अपने बोर्ड की टॉप-20 पर्सेन्टाइल अथवा सामान्य व ओबीसी के लिए 75 प्रतिशत एवं एसटी-एससी के लिए 65 प्रतिशत प्राप्तांक रखे गए हैं।
राज्यों में भी जेईई मेन से होगा दाखिला .कॅरियर काउंसलर अमित आहूजा ने बताया कि इस वर्ष भी गुजरात, मध्यप्रदेश, हरियाणा, उत्तराखण्ड, नागालैण्ड, ओडिशा और मध्यप्रदेश आदि राज्यों के इंजीनियरिंग कॉलेजों के साथ-साथ देश के कई प्रमुख इंजीनियरिंग संस्थानों में जेईई-मेन की रैंक के आधार पर ही एडमिशन दिया जाएगा।
महत्वपूर्ण है परीक्षा जेईई-मेन के जरिए 32 एनआईटी, 20 ट्रिपल आईटी व 18 जीएफटीआई की लगभग 24 हजार सीटों पर प्रवेश मिलता है। जिसके लिए प्रवेश प्रक्रिया एक दिसंबर से शुरू हो जाएगी।
सीबीएसई की ओर से जारी सूचना के मुताबिक छात्र दो जनवरी तक आवेदन कर सकेंगे। जिसके बाद दो अप्रेल को ऑफ लाइन और आठ व नौ अप्रेल को ऑन लाइन परीक्षा आयोजित की जाएगी। परीक्षा परिणाम (स्कोर) 27 अप्रेल को घोषित किया जाएगा।