इधर, निम्बाहेड़ा की सीमेंट फैक्ट्रियों में राख को मालगाड़ी के जरिए पहुंचाने को लेकर छबड़ा प्लांट प्रशासन, रेलवे की बिजनेस डवलपमेंट यूनिट और निम्बाहेड़ा की दो सीमेंट फैक्ट्रियों के बीच वार्ता का दौर अंतिम चरण में है। रेलवे की बिजनेस डवलपमेंट यूनिट फ्लाईऐश के नए यातायात को लेकर काम कर रही है।
थर्मल, रेल, सीमेंट फैक्ट्रियों व पर्यावरण को लाभ
निम्बाहेड़ा तक राख पहुंचाए जाने से एक और छबड़ा थर्मल परिसर से राख के पहाड़ खत्म होंगे, वहीं रेलवे को माल लदान से भाड़े के रूप में राजस्व मिलेगा। सीमेंट फैक्ट्रियों को लगातार सस्ता रॉ मैटेरियल मिल जाएगा। इससे सीमेंट फैक्ट्रियों में रॉ मैटेरियल के रूप में उपयोग किए जा रहे पत्थर, चूना समेत अन्य प्राकृतिक संसाधनों की बचत होने से प्रकृति संरक्षण भी होगा। इससे पहले कोटा थर्मल से सीमेंट फैक्ट्रियों में राख पहुंचाई जा रही है।
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छबड़ा थर्मल की राख को निम्बाहेड़ा सीमेंट फैक्ट्रियों के रॉ मैटेरियल के रूप में भेजने को लेकर लगातार प्रयास किया जा रहा है। इसके लिए थर्मल, रेलवे व फैक्ट्री प्रशासन की सकारात्मक बैठकें हुई हैं। पहले चरण में दस मालगाड़ी भेजने को लेकर विचार चल रहा है।
रोहित मालवीय, सीनियर डीसीएम, कोटा रेल मंडल
प्रथम चरण में जाएंगे दस रैक
छबड़ा से निम्बाहेड़ा तक राख भेजने की रूपरेखा तय कर ली गई है। प्रथम चरण में फ्लाईऐश की 10 रैक लोड किए जाएंगे। फिर नियमित लोडिंग शुरू कर दी जाएगी।