पर्व का हिंदू धर्म में बहुत महत्व
शारदीय नवरात्र के दौरान देवी दुर्गा के 9 स्वरूपों की पूजा का विधान है। पहले दिन गुरुवार को कई स्थानों पर देवी दुर्गा के पहले रूप शैलपुत्री की पूजा हुई। नौ दिनों तक चलने वाले इस पर्व का हिंदू धर्म में बहुत महत्व है। वैदिक पंचांग के अनुसार इस बार अश्विन माह में दुर्गोत्सव 3 अक्टूबर से शुरू हो गया। 2021 में कोलकाता में दुर्गा पूजा को यूनेस्को की सांस्कृतिक विरासत सूची में जोड़ा गया। नवरात्रि में 9 दिनों में दुर्गा के 9 रूपों शैलपुत्री, ब्रह्मचारिणी, चंद्रघटा, कुष्मांडा, स्कंदमाता, कात्यायनी, कालरात्रि, महागौरी और सिद्धिदात्री की उपासना होती है।त्योहार कभी नहीं रुक सकते : ममता
मुख्यमंत्री ममता बनर्जी ने त्योहारों के समय में राज्य के बाढ़ प्रभावित क्षेत्रों में लोगों को राहत-सामग्री भेजने के लिए अपनी सरकार की प्रतिबद्धता गुरुवार को दोहराई। कोलकाता के बेहाला क्षेत्र में एक दुर्गा पूजा पंडाल का उद्घाटन करते हुए उन्होंने कहा कि त्योहार के दिनों में बाढ़ से प्रभावित लोगों की पीड़ा को नजरअंदाज नहीं किया जाना चाहिए।उन्होंने बताया कि मौसम विभाग के पूर्वानुमान के अनुसार अगले दो दिन में बारिश होने की संभावना है तथा षष्ठी से शुरू होने वाले त्योहार के बाद के चार दिन तक छिटपुट बारिश और धूप वाला मौसम रहने की उम्मीद है। ममता बनर्जी ने कुछ समूहों द्वारा दुर्गा पूजा में शामिल नहीं होने पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि पूजा कभी नहीं रुकती है।
उन्होंने कहा कि त्योहार कभी नहीं रुक सकते। दुर्गा पूजा के बाद अन्य त्योहार भी आएंगे। मुख्यमंत्री ने दिन में कोलकाता में कई दुर्गा पूजा स्थलों का उद्घाटन किया, जिनमें उत्तर कोलकाता में ताला प्रतय, खिदिरपुर में 25 पल्ली, अलीपुर सार्वजनिक, कोलाहोल, नोतुन दल और बारिशा क्लब शामिल थे।