दूसरी तरफ टिड्डी ( Locusts ) की भयावह स्थिति से निपटने के लिए इमरजेंसी के तौर पर ब्रिटेन से 10 माइक्रोनियर मशीनें मंगाई गई है जो दो-तीन दिन में भारत आ जाएगी। वर्तमान में जोधपुर स्थित टिड्डी चेतावनी संगठन (एलडब्ल्यूओ) के पास 15 माइक्रोनियर मशीनें हैं जिनसे पूरे पश्चिमी राजस्थान में टिड्डी पर नियंत्रण किया जा रहा है। नई मशीनें आने से टिड्डी हमले को रोकने में काफी मदद मिलेगी। इस बीच, शुक्रवार को पाकिस्तान से एक और नया टिड्डी दल बीकानेर के खाजूवाला में रिपोर्ट किया गया।
वैज्ञानिकों के अनुसार जलवायु परिवर्तन टिट्टी अटैक का एक मुख्य कारण बनता जा रहा है। भारत-पाकिस्तान के अलावा लाल सागर के दोनों और बसे देश और अफ्रीका के सोमालिया और इथोपिया में इस समय भारी संख्या में टिड्डी है। केन्या में खाद्य संकट खड़ा हो गया है। वहां एरियल स्प्रे किया जा रहा है। प्रदेश में रबी की फसलों को ‘टिड्डी अटैक’ से भारी नुकसान के बाद केंद्र सरकार जाग गई। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्रसिंह तोमर के नेतृत्व में तीन सदस्य मंत्री दल का गठन किया है जो रविवार को बाड़मेर और जैसलमेर के टिड्डी प्रभावित सीमावर्ती क्षेत्रों का दौरा करेगा। दूसरी तरफ टिड्डी की भयावह स्थिति से निपटने के लिए इमरजेंसी के तौर पर ब्रिटेन से 10 माइक्रोनियर मशीनें मंगाई गई है जो दो-तीन दिन में भारत आ जाएगी। वर्तमान में जोधपुर स्थित टिड्डी चेतावनी संगठन के पास 15 माइक्रोनियर मशीनें हैं जिनसे पूरे पश्चिमी राजस्थान में टिड्डी पर नियंत्रण किया जा रहा है। नई मशीनें आने से टिड्डी हमले को रोकने में काफी मदद मिलेगी।
नुकसान का आकलन करेंगे मंत्री
केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर के साथ केंद्रीय जनशक्ति मंत्री गजेंद्र सिंह शेखावत और केंद्रीय कृषि राज्य मंत्री कैलाश चौधरी का 3 सदस्य दल 12 जनवरी को बॉर्डर पर पहुंचेगा। पिछले एक पखवाड़े से राजस्थान में टिड्डी के बड़े हमले के कारण बाजरा, जीरा, ईसबगोल जैसी रबी की फसलों को हुए नुकसान का जायजा लेगा।