गैंग के सदस्य ओएलएक्स पर फर्जी आर्मी अफसर बनकर पेश आते थे। इसके लिए वे किसी आर्मी अफसर की आईडी का इस्तेमाल करते थे। ओएलएक्स पर कार, मोबाइल व लेपटॉप सहित अन्य इलेक्ट्रोनिक सामान की फोटो लगा देते और उसे 40 से 50 प्रतिशत मूल्य पर बेचने की पेशकश करते। उदाहरण के तौर पर मारुति स्विफ्ट का 2017 मॉडल केवल 4 लाख रुपए में देने के लिए ओएलएक्स पर डाला, जिसमें जोधपुर के लोग ठगी का शिकार हो गए। गैंग के सदस्य खरीददार से भी ऑनलाइन आईडी ले लेते थे जो वे अगली लूट में इस्तेमाल करते थे। इस तरह उनके पास कई व्यक्तियों की आईडी मिली है। खुद के पास समय की कमी का बहाना करके पेटीएम में एडवांस पैसे जमा कराने का बोलते और सामान कोरियर से भेजने का कहते। पेटीएम से रुपए प्राप्त होने के बाद वे मोबाइल नम्बर बदलकर नया पेटीएम खाता शुरू कर देते। इस तरह करीब 15 से 20 लाख रुपए की ठगी इस गैंग ने की है।
जोधपुर में करीब आधा दर्जन लोगों के साथ ओएलएक्स पर फर्जी आर्मी अफसर बनकर लूट होने पर आर्मी इंटेलीजेंस हरकत में आई थी। बेरु गांव के संतोष जोशी पुत्र गणपत जोशी ने ओएलएक्स पर कैमरा खरीदने की पेशकश की, जिसमें उन्होंने पेटीएम पर एडवांस 25 हजार रुपए जमा करवाए। इसके बाद कैमरा तो नहीं आया, उलटा गैंग ने फोन स्विच ऑफ जरुर कर लिया। खुडाला गांव के विनोद शर्मा पुत्र अचलाराम, भाण्डू के धीरज पुत्र रामाराम और खुड़ाला के ही प्रेम सुथार पुत्र बालूराम सुथार से कार के नाम पर ठगी की गई। ये तीनों 4 लाख रुपए में 2017 मॉडल की स्विफ्ट कार खरीदने अलवर गए, जहां गैंग ने इनसे मोबाइल, एटीएम और पांच हजार रुपए छीन लिए।