script16 बार परीक्षा में फेल हुए, लेकिन हार नहीं मानी, आखिरकार पाया ऐसा बड़ा मुकाम, पढ़ें सक्सेज स्टोरी | Himanshu of Jodhpur failed in RAS-IAS exam 16 times, now becomes Nayab Tehsildar | Patrika News
जोधपुर

16 बार परीक्षा में फेल हुए, लेकिन हार नहीं मानी, आखिरकार पाया ऐसा बड़ा मुकाम, पढ़ें सक्सेज स्टोरी

शहर में ऐसे कई लोग हैं, जिन्होंने अपने जीवन में हुए हादसों और परेशानियों से हार नहीं मानी। अलग मुकाम हासिल किया और आज दूसरे लोगों के लिए प्रेरणास्रोत बने। उन्हीं में से एक हैं हिमांशु।

जोधपुरJan 28, 2024 / 10:04 am

Rakesh Mishra

success_story_of_himanshu.jpg
शहर में ऐसे कई लोग हैं, जिन्होंने अपने जीवन में हुए हादसों और परेशानियों से हार नहीं मानी। अलग मुकाम हासिल किया और आज दूसरे लोगों के लिए प्रेरणास्रोत बने। उन्हीं में से एक हैं हिमांशु। 16 बार आरएएस और आईएएस की परीक्षा में फेल होने के बाद 17वीं बार में हिमांशु आरएएस की परीक्षा में सफल हुए। सफलता पाकर हिमांशु नायब तहसीलदार बने।
दोनों कानों में हियरिंग प्रॉब्लम के बाद भी हालात से हार नहीं मानी। हिमांशु ने बताया कि कम सुनने की वजह से कई लोग मुझे उल्हाना देते थे, लेकिन परिवार के सहयोग से मैं आगे बढ़ता रहा। पढ़ाई के दौरान ठीक से सुन नहीं पाने के कारण आसपास बैठे साथियों की कॉपियों को देखकर नोट्स लिखने का सिलसिला चलता रहा। कई बार लगा कि बड़े अधिकारियों के बीच काम करने में परेशानी होगी, लेकिन अधिकारियों और स्टाफ की सहायता से मुझमें आत्मविश्वास आया और मैं खुशी और नए उत्साह के साथ कार्य करने लगा।
सिंगल पैरेंट होकर भी पाया मुकाम
2010 में एक्सीडेंट में पति की मृत्यु के बाद अपने ढाई साल के बेटे और साढ़े पांच साल की बेटी की जिम्मेदारी अनीता पर आ गई। बच्चों की जिम्मेदारी के साथ पार्लर का काम किया। परिवार के सहयोग और बच्चों के हौसले से कई सालों बाद फिर से पढ़ाई की और रीट की परीक्षा दी। सितंबर 2023 में थर्ड ग्रेड टीचर के पद पर नियुक्त हुईं। अनीता बताती हैं कि 2010 में जीवन बदल सा गया था, लेकिन बच्चों के भविष्य को देख जीवन में आगे बढ़ी और काम के साथ बच्चों को भी पढ़ाया।
यह भी पढ़ें

राजस्थान में जेसीबी से 515 क्विंटल चूरमे की बन रही है प्रसादी, देखें तस्वीरें

आज सरकारी विभाग में नौकरी लगने की खुशी तो है ही साथ ही इस पर पूरे परिवार को गर्व होता है। वहीं समाज की इस सोच पर विराम लगाया कि सिंगल पैरेंट महिला समाज में अपनी पहचान नहीं बना सकती है।

Hindi News / Jodhpur / 16 बार परीक्षा में फेल हुए, लेकिन हार नहीं मानी, आखिरकार पाया ऐसा बड़ा मुकाम, पढ़ें सक्सेज स्टोरी

ट्रेंडिंग वीडियो