प्रेमाराम का आरोप है कि पंजाब की लुधियाना पुलिस के जवान उसके 22 साल के बेटे मनवीर को 6 मार्च को जोधपुर से उठाकर ले गए। दो दिन बाद 8 मार्च को उसे अफीम तस्करी के मामले में गिरफ्तार कर लिया गया। परिवादी ने रिपोर्ट में लुधियाना पुलिस थाना डिवीजन 6 के इंद्रजीत, एएसआई सुबेग सिंह, कांस्टेबल मनजिंदर सिंह, गुरुपिंदर सिंह, सुखदीप सिंह, बसंतलाल, धनवंत सिंह, हरप्रीत सिंह, सतनाम सिंह, थाने के मुख्य आरक्षक, एएसआई राजकुमार व अन्य को नामजद किया गया है।
पहले दर्ज करवाई थी गुमशुदगी
प्रेमाराम के अनुसार मनवीर विश्नोई बीते तीन साल से जयपुर में रह कर प्रतियोगी परीक्षा की तैयारी कर रहा है। इस साल मार्च में मनवीर घर आया। छह मार्च को वह जोधपुर शहर के लिए निकला था, लेकिन वापस नहीं लौटा। उसके फोन पर कॉल किया तो किसी ने नहीं उठाया। इसके चलते 8 मार्च को झंवर थाने में मनवीर की गुमशुदगी रिपोर्ट दर्ज करवाई थी।
हाईवे के सीसीटीवी फुटेज में लुधियाना पुलिस नजर आई
मामले में झंवर थाना पुलिस ने मनवीर के मोबाइल की लोकेशन पता की तो बीकानेर आई, लेकिन फोन कोई रीसिव नहीं कर रहा था। झंवर पुलिस ने जोधपुर से बीकानेर के मध्य हाईवे पर लगे सीसीटीवी कैमरों के फुटेज देखे तो उसमें 7 मार्च को पंजाब पुलिस मनवीर को एक कार में बैठाकर ले जाती नजर आई। प्रेमाराम के अनुसार अगले दिन 8 मार्च को उनके पास पंजाब पुलिस का प्रेसनोट आया, जिसमें मनवीर को लुधियाना में एक बस से अफीम के साथ गिरफ्तार करने की सूचना दी गई। प्रेस नोट के अनुसार उसके बैग से 2 किलोग्राम अफीम बरामद की गई।