पाली और जालोर-सिरोही संसदीय क्षेत्र की बात करें तो 72 साल में हुए कुल 15 लोकसभा चुनाव के इतिहास में जालोर-सिरोही संसदीय क्षेत्र से केवल एक बार 2004 में भाजपा से महिला प्रत्याशी के रूप में सुशीला बंगारू को मतदातों ने चुनकर संसद भेजा था। पहले आप चुनाव में पाली से रानीदेवी भार्गव जनसंघ से उम्मीदवार थी। 1984 में पाली सीट से पुष्पा जैन भाजपा और 2014 में मुन्नीदेवी गोदारा कांग्रेस की उम्मीदवार थीं, लेकिन तीनों ही जीत नहीं पाईं। जालोर-सिरोही में कांग्रेस ने वर्ष 2009 में सिरोही जिले की संध्या चौधरी को प्रत्याशी बनाया था, लेकिन चुनाव परिणाम पक्ष में नहीं रहा।
पाली-जालोर-सिरोही सीट से महिला प्रत्याशी
-1952 में रानीदेवी भार्गव (जेएस) सिरोही-पाली से तीसरे स्थान पर रही
-1984 में पुष्पा जैन (बीजेपी) पाली संसदीय क्षेत्र से दूसरे स्थान पर रही
-1996 में जैन खुजा संपत (एसएस) पाली संसदीय क्षेत्र से आठवें स्थान पर
-1998 में शशि कला (एसएपी) पाली संसदीय क्षेत्र से छठे स्थान पर
-1999 में कुसुम मेघवाल (निर्दलीय) जालोर-सिरोही संसदीय क्षेत्र से तीसरे स्थान पर
-2004 में सुशीला बंगारू (भाजपा) जालोर-सिरोही संसदीय क्षेत्र से जीत दर्ज की
-2009 में संध्या चौधरी (कांग्रेस) जालोर-सिरोही संसदीय क्षेत्र से तीसरे स्थान पर
-2009 में नंदा देवी (आरजेवीपी) जालोर-सिरोही संसदीय क्षेत्र से छठे स्थान पर
-2009 में शांति परमार (निर्दलीय) जालोर-सिरोही संसदीय क्षेत्र से 18वें स्थान पर
-2019 में विजयश्री (एएसएस) जालोर-सिरोही संसदीय क्षेत्र से 11वें स्थान पर
प्रदेश की 31 महिलाएं पहुंची संसद
1952 से 2019 तक कुल 15 लोकसभा चुनाव हुए हैं। राजस्थान की बात करें तो इस चुनावी सफर में कुल 203 महिला प्रत्याशी विभिन्न दलों और निर्दलीय प्रत्याशी के रूप में चुनावी मैदान में उतरी। जिसमें से कुल 31 महिला प्रत्याशी जीत दर्ज कर पाई हैं।
महिलाओं के नाम ये भी रिकॉर्ड
-1962 में जयपुर संसदीय क्षेत्र से गायत्री देवी (एसडब्ल्यूटी) को प्रदेश की पहली महिला सांसद बनने का सौभाग्य मिला।
-महिला के तौर पर प्रदेश में सबसे ज्यादा बार चुनाव जीतने का रिकॉर्ड वसुंधरा राजे के नाम है। वे पांच बार चुनी गई।
-कांग्रेस नेता डॉ. गिरिजा व्यास चार बार जीतकर दूसरे स्थान पर रही।