उन्होंने सख्त हिदायत देते हुए कहा कि सडक़ों की गुणवत्ता के साथ कोई समझौता नहीं होना चाहिए। ऐसी व्यवस्था की जाए की सडक़ बनाने वाला ठेकेदार ही गांरटी अवधि में सडक़ खराब होने पर अनिवार्य रूप से सडक़ को सुधारे। यदि इसके लिए नियमों में कोई संशोधन करना हो तो करें। उन्होंने सडक़ों की गुणवत्ता को बढ़ाने के लिए प्रधानमंत्री ग्राम सडक़ योजना मॉडल के प्रावधानों को शामिल करने के निर्देश भी दिए। रिपेयरिंग के दौरान भी वही सामग्री इस्तेमाल की जाए जो निर्माण के दौरान इस्तेमाल की गई है।
उपमुख्यमंत्री दिया कुमारी ने इस अवसर पर राजस्थान पीडब्ल्यूडी सेवा ऐप लॉन्च किया। उन्होंने कहा कि यह ऐप प्रदेश की सडक़ों की गुणवत्ता सुधार एवं उसको बरकरार रखने में मजबूत निरीक्षण प्रणाली विकसित करेगा।
संबंधित अधिकारी द्वारा वर्ष मे दो बार (छह माह में एक बार) सडक़ के प्रत्येक किलोमीटर एवं भवन का नियमित निरीक्षण किया जाना अनिवार्य है। संबधित अधिकारी द्वारा किए गए निरीक्षण की जियो टेगिंग फोटो ऐप पर अपलोड होगी। अधिकारी द्वारा निरीक्षण के दौरान की गई टिप्पणी जैसे संतोषप्रद, असंतोषप्रद मय फोटो और आवश्यक कार्य का विवरण संबधित संवेदक को उसकी ई-मेल पर प्राप्त होगा। संवेदक द्वारा इसकी अनुपालना किए जाने की रिपोर्ट भी मय सुधार कार्य के फोटो सहित संबधित अधिकारियों को अनुमोदन के लिए प्राप्त होगी।