मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा आज खींवसर में भाजपा के प्रत्याशी रेवतराम डांगा की नामांकन रैली में शामिल होने वाले हैं। इसके बाद वे सलुंबर जाएंगे, जहां वे प्रत्याशी शांता देवी मीणा के समर्थन में रैली को संबोधित करेंगे। दूसरी ओर प्रदेश कांग्रेस कमेटी के अध्यक्ष गोविंद डोटासरा दौसा में प्रत्याशी दीनदयाल बैरवा की सभा को संबोधित करेंगे। इसके बाद वे उनियारा में प्रत्याशी केसी मीणा की सभा को संबोधित करेंगे। दोनों प्रमुख दलों ने अपनी-अपनी रणनीतियों को मजबूत करते हुए अपने प्रत्याशियों का ऐलान कर दिया है।
मुख्य निर्वाचन अधिकारी कार्यालय के अनुसार दौसा जिले में सबसे अधिक 13 प्रत्याशियों ने नामांकन दाखिल किया है। वहीं, रामगढ़, देवली-उणियारा और चौरासी में दो-दो प्रत्याशियों ने अपने नामांकन भरे हैं। रामगढ़ में भाजपा और कांग्रेस के अलावा अभी तक किसी अन्य पार्टी के प्रत्याशी ने नामांकन नहीं भरा है। इसके अतिरिक्त, झुंझुनूं में 7, सलूम्बर में 6 और खींवसर में 5 प्रत्याशियों ने नामांकन दाखिल किया है।
भाजपा और कांग्रेस दोनों ही दलों ने सभी सातों सीटों पर अपने उम्मीदवारों का ऐलान कर दिया है। दौसा से भाजपा के जगमोहन मीना और कांग्रेस के डीसी बैरवा आमने-सामने होंगे। झुंझुनूं से भाजपा से राजेंद्र भांबू और कांग्रेस से अमित ओला का मुकाबला होगा। देवली-उनियारा से भाजपा के राजेंद्र गुर्जर और कांग्रेस के केसी मीणा के बीच चुनावी संघर्ष होगा।
रामगढ़ में भाजपा के सुखवंत सिंह और कांग्रेस के आर्यन जुबेर के बीच मुकाबला होगा। खींवसर से भाजपा के रेवतराम डांगा और कांग्रेस के डॉ. रतन चौधरी चुनावी मैदान में हैं। सलूम्बर से भाजपा की शांता देवी मीणा और कांग्रेस की रेशमा मीणा आमने-सामने हैं। चौरासी से कांग्रेस के महेश रोत और भाजपा के कारीलाल ननोमा के बीच चुनावी भिड़ंत होगी।
बता दें कि इन उपचुनावों को लेकर राजनीतिक माहौल काफी गर्म है। भाजपा ने इन उपचुनावों को अपनी ताकत साबित करने का अवसर माना है। जबकि कांग्रेस इसे अपने अस्तित्व की रक्षा के लिए जरूरी मान रही है। मुख्यमंत्री और बड़े नेता विभिन्न रैलियों में शामिल होकर पार्टी के लिए समर्थन जुटा रहे हैं। वहीं कांग्रेस भी अपने नेताओं को सक्रिय करके जनता के बीच अपनी स्थिति मजबूत करने का प्रयास कर रही है। सभी की निगाहें इन उपचुनावों पर टिकी हुई हैं। क्योंकि ये आने वाले समय में राजनीतिक समीकरणों को बदल सकते हैं।