निर्दलीय विधायकों को खुश करने के लिए बनाए जिले
भाजपा नेता मदन राठौर ने
राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता
अशोक गहलोत के बयान पर कहा, उन्होंने (अशोक गहलोत) केवल अपनी सरकार को बचाने के लिए ऐसा किया क्योंकि गहलोत सरकार पहले से ही अल्पमत में थी। सरकार गिरने की आशंका को देखते हुए उन्होंने निर्दलीय विधायकों को खुश करने के लिए जिले बनाए और घोषणा की।
गहलोत सरकार में हुई गलती में हमने किया सुधार
भाजपा नेता मदन राठौर ने आगे कहा कि विकेंद्रीकरण होना चाहिए। ये मैं भी मानता हूं लेकिन कम से कम अनुपात का ध्यान रखना चाहिए। हमारी सरकार ने एक समिति का गठन किया जिसने एक रिपोर्ट दी और फिर ये फैसला लिया गया। गहलोत सरकार में जो गलती हुई उसमें हमने सुधार किया है।
प्रदेश सरकार ने ये निर्णय लेने में लगा 1 साल का समय – अशोक गहलोत
इससे पूर्व शनिवार शाम प्रेस कांफ्रेंस में राजस्थान कैबिनेट बैठक में नवगठित जिलों में से 9 जिले और 3 संभाग खत्म करने के निर्णय पर राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री और कांग्रेस नेता अशोक गहलोत ने कहा, प्रदेश सरकार ने ये निर्णय लेने में 1 साल का समय लगा दिया। इससे अंदाजा लगाया जा सकता है कि इस काम को लेकर उनके मन में कितना कंफ्यूज़न रहा है।
परिवेदनाओं का निपटारा जल्दी होता – अशोक गहलोत
अशोक गहलोत ने आगे कहा राजस्थान देश का सबसे बड़ा प्रदेश है। अगर तीन संभाग बनाए गए थे तो कुछ सोच-समझकर बनाए गए। इससे परिवेदनाओं का निपटारा जल्दी होता क्योंकि छोटे जिले होने पर प्रशासनिक अधिकारियों को काम का निपटारा जल्द करना पड़ता है। तमाम तरह से छोटे जिले ही जनता के लिए लाभदायक है।
हमने सुशासन के लिए लिया था यह फैसला – अशोक गहलोत
अशोक गहलोत ने कहा गुजरात आबादी के मामले में हमसे (राजस्थान) कम आबादी वाला प्रदेश है लेकिन फिर भी वहां 33 जिले हैं। मैं नहीं जानता कि यह फैसला क्या सोच-समझकर लिया गया है लेकिन हमने सुशासन के लिए यह फैसला लिया था, ये मैं कह सकता हूं।