व्याघात योग
मंगल के प्रभुत्व वाले इस योग में जन्मा जातक बिल्कुल खरा होता है. कठोर स्वभाव और कटु वचनों के कारण इनके कई दुश्मन बन जाते हैं। ज्योतिषाचार्य पंडित सोमेश परसाई बताते हैं कि जातक का प्रारंभिक जीवन अभावों में बीतता है लेकिन जवानी में उसे सुख मिलने शुरु हो जाते हैं।
ऐसे लोग प्राय: हिंसक होते हैं। इनमें किसी के प्रति दया भाव नहीं रहता। ये जातक खुद को फौलाद जैसा मजबूत बना लेते हैं, कैसी भी परिस्थिति में जीने के अभ्यस्त बन जाते हैं। खतरों से खेलने के लिये लालायित रहते हैं। अपने सुखों की ज्यादा चिन्ता नहीं करते हैं।
सबसे खास बात यह है कि ऐसे लोग चीते जैसे फ़ुर्तीले होते हैं। अक्सर खास लोग ही इनके साथ घात करते हैं और मार डालने की कोशिश करते हैं लेकिन ये प्राय: बच जाते हैं। ग्रह स्थिति बहुत कमजोर हो तो ही इनके साथ घात संभव है।