ऑटो चालक ने की मदद-जानकारी के अनुसार रद्दी चौकी निवासी एक ऑटो चालक युवती के सम्पर्क में आया। उसने कुंडम जाकर युवती और उसके परिजनों का पता किया। इसके बाद गढ़ा थाना क्षेत्र में रहने वाली युवती की बुआ के पास गया। युवक और उसके परिजन तीन दिन पुलिस के पास गए, लेकनि किसी ने शिकायत को गंभीरता से नहीं लिया।
युवती की बुआ ने गोरखपुर एसडीएम अरविंद सिंह को मामले की जानकारी दी। उन्होंने मामले को गंभीरता से लेते हुए उसे खर्चे के लिए कुछ रुपए मुहैया कराए और एएसपी गुरुप्रसाद पाराशर व आला अधिकारियों से बात की। इसके बाद गढ़ा पुलिस के नाम सर्च वारंट जारी किया। तब पुलिस नागपुर गई और रेड लाइट एरिया से युवती को बरामद कर शहर ले आई।
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80 हजार में बेचा था
युवती ने पुलिस को बताया कि उसके पिता मानसिक रूप से बीमार थे। जब वह १२ साल की थी, तभी उसकी मां उसे लेकर जबलपुर आ गई। यहां उसे कुछ दिन गढ़ा थाना क्षेत्र में रहने वाली बुआ के यहां छोड़ा। कुछ दिन बाद नागपुर ले जाकर ५० हजार रुपए में बेच दिया। हालंाकि करीब पांच साल पूर्व युवती की मां की मौत हो चुकी है।
भूखा रखते थे
युवती ने बताया कि विस्नो बाई न ही उसे भोजन देती थी और न ही बाहर निकलने देती थी। वह उससे २४ घंटे उससे देह व्यापार कराती थी। विरोध करने पर उसे प्रताडि़त किया जाता था। उसने कई बार भागने का प्रयास किया, लेकिन हर बार नाकाम रही।
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कलेक्टर ने एेसे मामलों में संवेदनशीलता बरतने के निर्देश दिए हैं। इसलिए पुलिस अधिकारियों से बातचीत कर तत्काल सर्च वारंट जारी किया गया। रदृदी चौकी निवासी एक युवक ने युवती की मदद की। इसके बाद उसे नागपुर के रेड लाइट एरिया से छुड़वाया जा सका।
– अरविंद सिंह, एसडीएम, गोरखपुर