कोर्ट में पेश परिवाद के जरिए सवाल किया गया है कि, सोशल मीडिया पर धीरेंद्र शास्त्री द्वारा एक वीडियो अपलोड किया है, वीडियो में धीरेंद्र शास्त्री कलचुरी समाज के आराध्य देव भगवान सहस्त्रबाहु को अत्याचारी, बलात्कारी, और दुष्ट बता रहे हैं। धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री द्वारा कहे गए शब्दों ने कलचुरी समाज के हर व्यक्ति की धार्मिक भावनाएं आहत की हैं। उनके आराध्य भगवान सहस्त्रबाहु अर्जुन के विषय में अपमानित करने वाले शब्दों का इस्तेमाल किया है।
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1 जुलाई को होगी मामले की सुनवाई
वीडियो अपलोड करने से कलचुरी समाज के आराध्य देव की मानहानि और लोगों की भावनाएं आहत करने पर 9 मई को एक नोटिस भी भेजा था। लेकिन, तय अवधि के भीतर पंडित धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री की ओर से कोई जवाब नही दिया गया, जिसे लेकर वकील अनूप शिवहरे की ओर से ग्वालियर जिला अदालत में ये परिवाद पेश किया गया है। अब इस मामले में 1 जुलाई को सुनवाई होनी है।
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पंडित शास्त्री ने ट्वीट कर जताया खेद
हालांकि कुछ समय पहले भी इस वीडियो को लेकर काफी बवाल मच चुका है। विवाद बढ़ता देख पं. धीरेंद्र शास्त्री ने अपने बयान को लेकर सफाई भी दे चुके हैं। साथ ही, अपने बयान पर खेद भी व्यक्त कर चुके हैं। बागेश्वर धाम सरकार के आधिकारिक ट्विटर हैंडल पर पंडित धीरेंद्र शास्त्री की ओर से लिखा गया था कि, ‘विगत कुछ दिनों से एक विषय संज्ञान में आया है। एक चर्चा के मध्य में मेरे द्वारा भगवान परशुरामजी और महाराज सहस्त्रबाहू अर्जुनजी के मध्य हुए युद्ध के विषय में जो भी कहा गया है वह हमारे पवित्र हिन्दू शास्त्रों में वर्णित आधार पर कहा गया है। हमारा उद्देश्य किसी भी समाज अथवा वर्ग की भावनाओं को आहत करने का नहीं था और न ही कभी होगा, क्योंकि हम तो सदैव सनातन की एकता के पक्षधर रहे हैं। फिर भी यदि हमारे किसी शब्द से किसी की भावना आहत हुई हो तो इसका हमें खेद है। हम सब हिन्दू एक हैं। एक रहेंगे। हमारी एकता ही हमारी शक्ति है।’