ग्वालियर। नोट बंदी के बाद से जहां एक ओर लोगों को बैंकों व एटीएम की लाइन में खड़े होकर परेशान होना पड़ रहा है। वहीं लोगों की इन परेशानियों को देखते हुए पीएम मोदी ने लोगों को राहत देने के लिए कुछ जगहों पर पुराने नोट तक लेने के निर्देश दिए हैं। इनमें चिकित्सालयों, पेट्रोल पंप सहित कुछ जगहों पर लोगों से पुराने नोट भी लेने की अपील की गई है।
प्रधानमंत्री के इन दिशा-निर्देशों के बावजूद कई जगहों पर पुराने नोट नहीं लिए जा रहे हैं। जिसके चलते लोगों को परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है। ऐसी ही एक घटना ग्वालियर में भी सामने आई है, जहां एक मरीज ने इलाज के बाद डॉक्टर की फीस के लिए 500 का पुराना नोट दिया, तो डॉक्टर ने तुरंत उस नोट को फेंक दिया और मरीज के अंटेंडर से जमकर अभद्रता करके कहा कि जाओ प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी से इलाज करा लो। यही नहीं अफसरों के कहने पर इस डॉक्टर ने कह दिया कि मेरी सेवाएं इमरजेंसी में नहीं आती हैं।
जानकारी के अनुसार मनोचिकित्सक डॉ. मुकेश चंगुलानी की क्लीनिक पर मरीज के इलाज के बाद जैसे ही मरीज के पिता आरके शिवहरे ने डॉक्टर को फीस के लिए 500 का पुराना नोट दिया तो वह भड़क गया और मरीज के परिजन से अभद्रता पर उतर आया। इस पर जब शिवहरे ने डॉक्टर से कहा कि वह नोट नहीं बदवा पाए हैं और वे सरकार के आदेशों के तहत कृपया ये नोट लेने का कष्ट करें। इतना सुनते ही डॉक्टर बुरी तरह से भड़क गया और शिवहरे के जमकर खरीखोटी सुनाते हुए, वह पुराना 500 का नोट जमीन पर फैंक दिया साथ ही कहने लगा यदि ऐसा है तो जाकर पीएम मोदी से ही इलाज कराओ।
यह है डॉ. चंगुलानी
डॉ. मुकेश चंगुलानी ग्वालियर में साइकेट्रिक (मनोचिकित्सक हैं) और वे पीजीआई चंडीगढ़ से एमडी हैं।डॉ. चंगुलानी पहले ग्वालियर के मेडिकल कॉलेज में प्रोफेसर थे और ग्वालियर ही मेंटल हॉस्पिटल से जुड़े रहे हैं। अब वे निजी प्रैक्टिस करते हैं।
क्रमवार ऐसे समझे पूरा मामला
दरअसल शिंदे की छावनी में मनोचिकित्सक डॉ. मुकेश चंगुलानी का क्लीनिक है। यहां पर आरके शिवहरे अपने बेटे का इलाज कराने डॉ. चंगुलानी के पास पहुंचे। डॉ. चंगुलानी को दिखाने के बाद जैसे ही शिवहरे नेे फीस के रूप में डॉ. चंगुलानी को 500 का पुराना नोट दिया, इस पर वे गुस्सा होने लगे। शिवहरे ने कहा कि वे बैंक से नोट नहीं बदलवा पाएं हैं। इसके बाद शिवहरे ने सरकार के उस आदेश का हवाला भी दिया कि डॉक्टर पुराना नोट ले सकते हैं। यह सुनते ही डॉ. चंगुलानी भड़क गए और जमकर खरी-खोटी सुनाने लगे और मरीज का 500 का नोट फेंक दिया।
नोट फेंका और क्लीनिक से बाहर निकाला
शिवहरे को जमकर खरीखोटी सुनाने के बाद भी डॉ. चंगुलानी शांत नहीं हुए और कहने लगे ले जाओ ये 500 का नोट और प्रधानमंत्री मोदी से ही इलाज करवा लो। इसके बाद डॉ. चंगुलानी ने शिवहरे और उनके बीमार बेटे को क्लीनिक से बाहर निकाल दिया। घटना के बाद शिवहरे ने कलेक्टर , एसपी से इसकी शिकायत की है। उनके मुताबिक भारतीय मुद्रा का ऐसे अपमान नहीं किया जा सकता है।
इमरजेंसी नहीं है मेरी सेवाएं
यह मामला सामने आने के बाद डॉ. चंगुलानी का कहना है कि वे मरीजों से बाद में फीस लेने की बात कह रहे थे। यदि कोई मरीज दूर-दराज से आता है तो वह पुराना नोट ले लेते हैं। डॉ. चंगुलानी का कहना है कि सरकार ने इमरजेंसी सेवाओं में पुराने नोट देने की बात कही है और मेरा इलाज इमरजेंसी के दायरे में नहीं आता है, क्योंकि मैं निजी प्रैक्टिस करता हूं।