31 साल पहले हुआ था किडनैप
राजू ने बताया कि एक दिन जब वह स्कूल से वापस आ रहा था तब उसे किसी ने किडनैप कर लिया था और उसे राजस्थान ले गए थे। वहां उसे पूरे दिन मारा-पीटा जाता था और खाने के लिए एक रोटी दी जाती थी। पूरे दिन काम करवाने के बाद उसे रात में बंधक बनाकर रखा जाता था। आगे उसने बताया कि उसे जिस घर में बंधक बनाकर रखा गया था, वहां की छोटी बेटी ने उसे हनुमान जी की उपासना करने को कहा और भागने के लिए प्रोत्साहित भी किया। मौका पाकर वह वहां से भाग निकला और राजस्थान से दिल्ली पहुंच गया। पुलिस ने बिछड़े बेटे को परिवार से मिलाया
राजू ने दिल्ली में पुलिस मदद के लिए गया पर किसी ने उसकी एक न सुनी। 22 नवंबर को खेड़ा थाना पहुंचने पर कहानी में नया मोड़ आया। खेड़ा पुलिस ने ना केवल उसे खाने-पीने की चीजें मुहैया कराई बल्कि उसकी कहानी सोशल मीडिया पर भी शेयर किया। इसका परिणाम ये हुआ कि लड़के के चाचा ने उसे पहचान लिया और उसके परिवार वालों को भी इसके बारे में बताया। जब परिवार वालों ने 31 साल से बिछड़े बेटे से मिले तो सारे लोग भावुक हो गए। राजू ने खेड़ा पुलिस का धन्यवाद किया और अपने परिवार के साथ वापस लौट गया। इस घटना ने मानवता के उदाहरण को पेश किया और साथ ही ये भी दिखाया कि कई बार सोशल मीडिया दूरियां मिटाने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। अगर सोशल मीडिया का यूज सही तरीके से किया जाए तो इसके भी कई फायदे हो सकते हैं।