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हालांकि, केंद्रीय बैंक ने कहा कि ग्राहक या व्यापारी कंपनी पर पीएसओ के रूप में वैध दावा रखते हैं और कंपनी से 30 सितंबर, 2022 तक संपर्क कर सकते है। वे अपने दावों का निपटारा, रद्द करने की तारीख से तीन सालों के भीतर कर सकते हैं।
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आरबीआई ने कहा, “भारतीय रिजर्व बैंक ने अथराइजेशन सर्टिफिकेट (सीओए) को वोडाफोन के लिए पेमेंट सिस्टम ऑपरेटर को रद्द कर दिया है। आरबीआई ने ऐसा पेमेंट एंड सेटलमेंट सिस्टम्स एक्ट 2007 के तहत मिली शक्तियों के तहत किया है।”
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हाल ही में, आरबीआई ने अपनी ‘ट्रेंड एंड प्रोग्रेस ऑफ़ बैंकिंग इन इंडिया’ रिपोर्ट में कहा कि भारतीय भुगतान बैंकों ( PBs ) ने वित्तीय वर्ष 2018 में 512 करोड़ रुपए से अपने कुल घाटे में 21 फीसदी का इजाफा किया है। जो बढ़कर 31 मार्च 2019 को 626.8 करोड़ रुपए हो गया है। इस वजह से भी कंपनी ने अपने एम पैसा को बंद करने का निर्णय लिया है।