अब शनिदेव की शुभ दृष्टि इन 4 राशि के जातकों पर हो रही मेहरबान, छप्पर फाड़ के खुलने वाला है भाग्य
ज्योतिषाचार्य पं. प्रह्लाद कुमार पंड्या ने बताया की इस साल वही शुभ संयोग बन रहा है जो भगवान श्रीगणेश जी के जन्म के समय बना था। भाद्रपद माह के शुक्लपक्ष की चतुर्थी तिथि यानी की सोमवार 2 सितम्बर को है, इस बार 11 दिनों तक गणेश महापर्व का उत्सव मनाया जाएगा। 2 सितंबर को चतुर्थी तिथि सूर्योदय से पूर्व की लग जायेगी जो पूरे दिन रहेगी।
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गणेश स्थापना का शुभ मुहूर्त- 2 सितंबर 2019
हिन्दुओं का प्रमुख त्यौहार गणेश चतुर्थी 2 सितम्बर दिन सोमवार है- इस दिन इन शुभ चौघडियों में करें अस्थाई मृतिका गणेश स्थापना-
1- प्रातः – 6 बजे से 7 बजकर 30 मिनट तक- अमृत
2- सुबह – 9 बजे से 10 बजकर 30 मिनट तक- शुभ
3- दोपहर – 1 बजकर 30 मिनट से 3 बजे तक- चल
4- दोपहर – 3 बजे से 4 बजकर 30 मिनट तक- लाभ
5- शाम – 4 बजकर 30 मिनट से 6 बजे तक- अमृत
6- शाम – 6 बजे से 7 बजकर 30 मिनट तक- चल
हनुमान चालीसा के साथ कर लें ये उपाय, हो जायेगी हर मनोकामना पूरी
ग्यारह दिवसीय गणेश महोत्सव की तिथि
1- गणेश चतुर्थी व्रत- 2 सितम्बर – सोमवार
2- ऋषि पंचमी- 3 सितम्बर – मंगलवार
3- मोरछठ-चम्पा सूर्य षष्ठी – 4 सितम्बर – बुधवार
4- संतान सप्तमी – 5 सितम्बर – गुरुवार
5- राधाष्टमी – 6 सितम्बर – शुक्रवार
6- मूल दिनरात, श्री हरी जयंती – 7 सितंबर – शनिवार
7- सुंगध धुप दशमी, रामदेव जयंती – 8 सितंबर – रविवार
8- पदमा डोल ग्यारस – 9 सितम्बर – सोमवार
9- भुवनेश्वरी जयंती, श्री वामन जंयती – 10 सितम्बर – मंगलवार
10- प्रदोष व्रत – 11 सितंबर – बुधवार
11- अनंत चतुथदर्शी – 12 सितम्बर – गुरुवार
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श्री गणेश चतुर्थी पूजा विधि
श्री गणेश चतुर्थी के दिन प्रात:काल ब्राह्ममुहूर्त में स्नानादि से निवृत्त होकर इस दिन केवल मिट्टी से बने गणेश जी की प्रतिमा ही स्थापित करना चाहिए। षोडशोपचार विधि से उनका पूजन करें। पूजन के पश्चात् नीची नजऱ यानी की धरती में देखते हुए चंद्रमा को अर्घ्य देकर दर्शन करना चाहिए। श्रीगणेश पूजा में चतुर्थी के दिन गणपति को 21 लड्डुओं का भोग लगाकर उसी भोग को प्रसाद रूप में सभी को बांटना चाहिए।
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