प्रियंका ने कहा- असम में बीजेपी दो गुटों में बंटी हुई है। महाभारत के शकुनी और धृतराष्ट्र की तरह दो गुटों में बीजेपी बंटी हुई है। कुछ नेता धृतराष्ट्र की तरह काम कर रहे हैं तो कुछ शकुनी मामा की तरह। बीजेपी जनता का फायदा नहीं देखती बस अपने फायदे में विश्वास करती है।
स्थानीय नेताओं को टारगेट दिया जाता है, केंद्र में बैठे सिंडिकेट की जरूरतों को पूरा करने का। कुछ गिने-चुने लोगों को लाभ पहुंचाने के लिए काम कर रही बीजेपी सरकार। असम की संस्कृति से लेकर भाषा, वेशभूषा तक पर बीजेपी हमले बोल रही है। जमीने छीन कर अरबपति दोस्तों को देने में जुटी है केंद्र सरकार।
ओएनजीसी को प्राइवेट करने की तैयारी, सबको बांटने की राजनीति, समाज का ध्रुवीकरण करती है बीजेपी। शंकर देव जैसे महापुरुष का नाम लेने का क्या फायदा जब बीजेपी समाज का विभाजन कर रही है। शंकर देव ने असम के लोगों को जोड़ा। बीजेपी की सच्चाई को पहचाने का वक्त आ गया है। वोट के जरिए उन्हें सबक सिखाएं। हमारी सरकार ने सभी असम को तोड़ने की कोशिश नहीं की।
यह भी पढ़ेँः Assam Assembly Elections 2021: डिब्रूगढ़ में नड्डा ने प्रियंका पर कसा तंज, चाय पत्तियां तोड़ने में की ये गलती ‘CAA’ को लेकर धोखाप्रियंका ने कहा- बीजेपी नेता धृतराष्ट्र समान धोखा देने का काम कर रहे हैं। उन्होंने 6 जनजातियों के साथ धोखा किया। उन्होंने कहा अलग दर्जा मिलेगा, लेकिन नहीं दिया। सबसे बड़ा धोखा- सीएए को लागू करने को लेकर दिया।
दूसरे नेता शकुनी मामा की तरह भ्रष्टाचार को बढ़ावा दे रहे हैं। एक ऐसी राजनीति को चलाते हैं जो जनता को धोखा देती है। बीजेपी ने 2004 में अपनी चार्जशीट में जिस नेता को लेकर आरोप लगाए। अब इन्हीं के गले का हार बने हुए हैं। सिंडिकेट के जरिए अपनों फायदा पहुंचाने में जुटी है बीजेपी।
प्रियंका ने कहा- जब चुनाव आता है, तो सारी राजनीति पार्टियां आती हैंऔर बड़े-बड़े भाषण दिए जाते हैं। प्रियंका ने जनता के मन में होने वाले तीन सवालों पर बात की। उन्होंने कहा- आपको क्या पूछना चाहिए। आपके मन में कौनसे सवाल होने चाहिए। इस पार्टी ने क्या किया, दूसरा सवाल ये पार्टी हमारे लिए क्या करेगी। तीसरा सवाल क्या इस पार्टी की विचारधारा हमारी संस्कृति को समझती है?
उपलब्धियों से भरा असम असम प्रदेश में वो सब उपलब्धियां जो जिससे य महान और समृद्ध प्रदेश बन सकता है। पर्टयन, कोयला, पेट्रोलियम, हथकरघा, सिल्क, बैंबू से लेकर सबकुछ है। आपके नौजवान देश और दुनिया में काम करते हैं।
असम प्रदेश को गरीबी और दुखों से भरा बीजेपी सरकार ने। इनकी नीति आयोग की रिपोर्ट में लिखा था…बीजेपी शासन में असम में गरीबी बढ़ गई है।
असम की सरकार अनेक सिंडिकेट से घिरी हुई है। विधानसभा के उपाध्यक्ष ने आरोप लगाया। बीजेपी के नेता सिंडिकेट चला रहे हैं। असम भाजपा के दो गुट है…महाभारत में शकुनी मामा और धृतराष्ट्र है। ऐसे ही असम में दो गुट के नेता है।..
बीजेपी असम में एक राजनीतिक पार्टी नहीं एक माफिया जैसे चल रही है। इनकी अपनी पार्टी में अपने नेताओं का आदर नहीं हैं। पीएम मोदी के भाषण देखें कहीं एक नेता का नाम लेंगे तो कहीं दूसरे नेता का। वे अब तक ये तय नहीं कर पा रहे हैं कि सीएम कौन होगा। मुख्यमंत्री को ही आदर नहीं दे पा रहे हैं।
पार्टी में ही विभाजन है तो प्रदेश की जनता के लिए क्या करेंगे। जब सत्ताधारी पार्टी ही माफियाओं द्वारा बंधक है तो आप सोच सकते हैं यहां के व्यापारियों की क्या हालत होगी। पीएम मोदी ने हाल में कहा कि कांग्रेस ने असम का अपमान किया। कांग्रेस ने ऐसी सरकारें दी जिसने काम नहीं किया। कौन थे हमारे सीएम, क्या तरुण गोगोई के बारे में ये शब्द कहे। असम का हर बंदा जानता है उन्होंने प्रदेश की जनता के लिए कितना काम किया।
पीएम मोदी झूठ बोलने में आगे
इससे पहले छत्तीसगढ़ के सीएम और कांग्रेस के वरिष्ठ नेता भूपेश बघेल ने भी बीजेपी खास तौर पर पीएम मोदी पर हमला बोला। उन्होंने कहा- पीएम ऑस्ट्रेलिया गए थे। वहां ऊंची-ऊंची फेंक रहे थे। दुनियाभर के इन्वेस्टरों को भारत लाऊंगा।
बघेल ने एक उदाहरण के जरिये पीएम मोदी पर तंज कसा। उन्होंने कहा- ‘वहां कार्यक्रम में एक आदमी आया और मोदी के पैर पकड़ लिए। बोला आपको अपना गुरु बनाना चाहता हूं। मैं फास्ट बॉलर हूं। काफी तेज गेंद फेंकता हूं। मेरा नाम ब्रेट ली है, लेकिन आप मुझसे भी ज्यादा फेंकते हैं इसलिए आपको गुरु बनाना चाहता हूं।’
ऐसा ही असम में भी पीएम मोदी फेंक रहे हैं। एक पुल की मांग थी लोगों की। दो बार भूमिपूजन किया लेकिन अब तक पुल नहीं बना। असम में आनंद, सर्बानंद का नारा दिया, लेकिन क्या असम में किसी को आनंद मिला। सिर्फ सिंडिकेट को मिला। गौमाता के नाम से वोट मांगने वाले सर्बानंद गौतस्कर सिंडिकेट को आनंद मिला।
आपको बता दें कि प्रियंका गांधी सोमवार को दो अन्य रैलियों को भी संबोधित करेंगी। सारुपथार के बाद प्रियंका की अगली रैली कलियाबोर में होगी, जबकि तीसरी और अंतिम रैली नागांव के बारडोवा में करेंगी।