शुक्रवार को करें कनकधारा स्त्रोत का पाठ, नहीं रहेगी कभी धन की कमी 1.पंडित रवि दुबे के अनुसार इस बार चैत्र नवरात्रि की शुरुआत 6 अप्रैल से होगी। जो कि 14 अप्रैल तक चलेगी। इन नौ दिनों में देवी मां की सच्चे मन से आराधना करने पर व्यक्ति को सुख-समृद्धि की प्राप्ति होगी।
2.इस बार नवरात्रि में कलश स्थापना शुभ मुहूर्त 6 अप्रैल को सुबह 11:58 से लेकर दोपहर 12:49 बजे तक है। इस मुहूर्त के समय कर्क लग्न है। इसलिए पूजन के लिए ये अभिजीत समय लाभदायी होगा।
3.हिंदू धर्म में नवरात्रि पर मिलने वाला फल देवी मां के आगमन और प्रस्थान के समय की सवारी पर निर्भर करता है। 4.पंडित रवि दुबे के अनुसार इस साल दुर्गा जी घोड़ पर सवार होकर आएंगी। क्योंकि इस दिन मंगवार है। देवी मां की ये वाहन पराक्रम को दर्शाता है।
5.वहीं देवी मां हाथी पर सवार होकर वापस जाएंगी। इस दिन रविवार पड़ रहा है। माना जाता है कि गज पर विदा होने से देवी अपने मायके से खूब सारा सामान बटोरकर अपने साथ ले जाती हैं।
घर के दरवाजे पर छिड़क दें ये चीज, मां लक्ष्मी का होगा घर में वास 6.चैत्र नवरात्रि पर देवी मां की आराधना प्रतिपदा यानि नवरात्रि के पहले दिन से शुरू होगी। इस दिन कलश स्थापित किया जाएगा। कलश रखते समय जमीन में शुद्ध मिट्टी रखें। अब कलश के अंदर जल भरकर उसमें आम के पांच पत्तों वाला डंठल रख दें। अब कलश के उपर नारियल रखकर लाल कपड़ा ओढ़ा दें।
7.कलश को एक जगह रखने के बाद मिट्टी में जौ के बीज डाल दें। अब आखिर में उस पर गंगाजल छिड़क के देवी मां का ध्यान करें। अब घर में धूप-दीप दिखाएं। 8.घर में बरक्कत लाने के लिए नवरात्रि में घर के मेन गेट पर आम के पांच पत्ते लगाने से खुशहाली आएगी। पत्तों को लाल रंग की मौली में लपेटकर सिंदूर लगाकर बांधें।
9.चैत्र नवरात्रि पर देवी मां को लाल चुनरी ओढ़ाना शुभ माना जाता है। इससे देवी मां प्रसन्न होती हैं और आपकी मनोकामनाएं पूरी करेंगी। 10.चैत्र नवरात्रि पर देवी मां के सामने अखंड ज्योत जलाने से भी लाभ होता है। ये दीया नौ दिनों तक लगातार जलने दें। इसे देसी घी डालकर जलाएं।