कम्प्यूटर का नाम ’पॉकेट जीनियस प्रो’, पेटेंट की प्रक्रिया शुरू
कम्प्यूटर का नाम ’पॉकेट जीनियस प्रो’ रखा गया है। चयन पंड्या ने अपने नए कंप्यूटर का पेटेंट करवाने की प्रक्रिया शुरू कर दी है। चौंकाने वाली बात यह है कि विज्ञान संकाय से स्कूली शिक्षा लेने के बाद चयन पंड्या अभी डिस्टेंस
एज्युकेशन से स्नातक एवं एसटीसी (
स्कूल शिक्षा प्रमाण पत्र) कर रहे हैं।
लैपटॉप से आया आइडिया
चयन पंड्या ने बताया कि पापा ने उन्हें 10 साल की उम्र में एक लैपटॉप दिया था। उसी लैपटॉप से मिनी कम्प्यूटर का आइडिया आया। खेतों या अन्य जगह लैपटॉप को ले जाना मुश्किल होता था इसलिए उन्होंने पॉकेट कम्प्यूटर बनाने की सोची और पांच साल में पॉकेट कम्प्यूटर बना दिया। विज्ञान के प्रयोग का शौक रखने वाले चयन इससे पूर्व पवन चक्की, सौर-ऊर्जा बल्ब, पावर बैंक, सबसे छोटा माइक्रोफोन आदि बना चुके हैं।
बचपन से था गैजेट्स का शौक
चयन पंड्या ने बताया कि 5 साल की उम्र से ही उन्हें गैजेट्स का शौक था। वे टीवी पर गाड़ियां, कंप्यूटर व अन्य गैजेट्स देखते थे। कुछ दिन बाद उन्होंने टीवी चैनल्स व यू-ट्यूब से सर्किट बनाना सीख लिया। चयन के शौक को देखकर उनके पिता ने साइंस एवं टैक्नोलॉजी की किताबें और गैजेट्स उनको लाकर दिए। इससे कुछ नया करने की प्रेरणा मिली।
पॉकेट कम्प्यूटर की खासियत
पूरी तरह विंडो ऑपरेटिंग सिस्टम पर काम करता है। इसमें क्रोम, यूट्यूब, एमएस ऑफिस, जीमेल आदि साफ्टवेयर काम करते हैं। विण्डोज-11 प्रो के साथ एआइ का भी इस्तेमाल।
लागत : 27 से 29 हजार रुपए।