हालांकि केंद्रीय जांच ब्यूरो ( CBI ) ने डीएचएफएल के प्रवर्तक कपिल वधावन और आरकेडब्ल्यू डेवलपर्स के प्रवर्तक धीरज वधावन को रविवार को ही हिरासत में रविवार को ही ले लिया था। सीबीआई ने सोमवार को वधावन बंधुओं को विशेष अदालत में पेश किया था। दोनों को महाबलेश्वर स्थित क्वारनटाइन सेंटर से गिरफ्तार किया गया था। उन्हें इस मामले में करीब 50 दिन पहले नामजद किया गया था। यस बैंक के सीईओ राणा कपूर को भी इस मामले में अभियुक्त बनाया गया है।
जानकारी के मुताबिक 62 वर्षीय राणा कपूर ने कपिल वधावन के साथ मिलकर यस बैंक के माध्यम से डीएचएफएल को वित्तीय सहायता देने के लिए एक आपराधिक षड्यंत्र ( Criminal Conspiracy ) रचा, जिसके बदले कपूर और उनके परिवार को अनुचित लाभ मिला।
आपको बता दें कि कोरोना वायरस के चलते लगे लाॅकडाउन में डीएफएचएल के प्रमोटर कपिल वधावन और धीरज वधावन के फैमिली ट्रिप पर जाने से हडकंप मच गया था। लॉकडाउन के बीच वधावन परिवार के 23 लोगों ने मेडिकल इमरजेंसी बताकर खंडवा से महाबलेश्वर में बने फार्महाउस की विजिट की थी। इसके बाद इन सबको महाबलेश्वर में स्थानीय पुलिस द्वारा क्वारनटाइन में रखा गया था। 10 अप्रैल को इस मामले में काफी हंगामे के बाद जांच शुरू होने के साथ ही वधावन फैमिली को परमिट देने वाले प्रधान सचिव (विशेष) को अनिवार्य छुट्टी पर भेज दिया गया।