नई दिल्ली। बॉलीवुड के दिग्गज एक्टर इरफान खान ने पिछले साल अप्रैल में दुनिया को अलविदा कह दिया था। वह न्यूरोएंडोक्राइन ट्यूमर से पीड़ित थे। इरफान भले ही आज इस दुनिया में नहीं हों लेकिन उनके काम को हमेशा याद किया जाएगा। इरफान का पूरा नाम साहबजादे इरफान अली खान था। उनका जन्म 7 जनवरी, 1967 में जयपुर में हुआ था। एक जमीदार परिवार से ताल्लुक रखने वाले इरफान ने बॉलीवुड में पहचान बनाने के लिए स्ट्रगल का सामना किया।
इरफान खान के पिता का नाम स्वर्गीय जागीरदार खान था जो टोंक जिले के खजुरिया में टायर का बिजनेस चलाते थे। उनकी मां सईदा बेगम टोंक हाकिम फैमिली से थीं। कम ही लोग जानते हैं कि मुश्किलों दिनों में इरफान ने एसी ठीक करने और ट्यूशन पढ़ाने जैसे काम भी किए हैं। जब वो पहली बार AC रिपेयर करने गए तो ये बॉलीवुड के लीजेंड एक्टर राजेश खन्ना का घर था।
अपनी जवानी के दिनों में इरफान एक क्रिकेटर बनना चाहते थे लेकिन इसमें उनके माता-पिता ने उनका साथ नहीं दिया। जिसके बाद एनएसडी से स्कॉलरशिप मिलने के बाद उन्होंने एक्टिंग में जाने की ठान ली।
इरफान खान की एनएसडी कॉलेज के दौरान ही उनकी पत्नी सुतापा से मुलाकात हुई थी। उन्होंने 23 फरवरी 1995 को सुतापा से शादी की। इसके बाद इरफान ने अवार्ड नॉमिनेटेड फिल्म सलाम बॉम्बे से डेब्यू किया था। ये फिल्म साल १९८८ में रिलीज हुई थी। लेकिन फिल्म से उनका रोल काट दिया गया था।
अपने शुरुआती करियर में इरफान ने कई सीरियल्स में छोटे-मोटे किरदार भी निभाए थे, जिसमें चाणक्य, भारत की खोज, सारा जहां हमारा, बनेगी अपनी बात, चंद्रकांता, अणुगूंज, श्रीकांत, स्टार बेस्टसेलर्स एंड स्पर्श जैसे टीवी सीरियल्स शामिल हैं।
इसके बाद उन्हें साल २००० में रिलीज हुई फिल्म द वॉरियर से पहचान मिली। साल 2005 में रोग फिल्म में उन्हें लीड रोल मिला। जिसके बाद उन्होंने पीछे मुड़कर नहीं देखा। उन्होंने ‘स्लमडॉग मिलेनियर’, ‘पान सिंह तोमर‘, ‘द लंचबॉक्स’ ‘किस्सा’, ‘तलवार’, ‘पीकू’ जैसी फिल्मों से साबित कर दिया कि वह एक शानदार एक्टर हैं। बॉलीवुड के अलावा उन्होंने हॉलीवुड में भी खूब नाम कमाया। उन्होंने ‘स्पाइडर मैन’, ‘जूरासिक वर्ल्ड’, ‘इन्फर्नो’’ के अलावा कई अन्य अंतर्राष्ट्रीय स्तर के प्रोजेक्ट में काम किया था।