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पूरा मामला तिमरपुर बैराज कालोनी की रहने वाली आशा का है। यहां पर एक गरीब महिला आशा को सुबह सवेरे प्रसव पीड़ा हुई तो परिजनों ने गांव की ही रिटायर्ड एएनएम रामवती शर्मा ने पैसे के लालच में महिला के घर वालों को बहला फुसलाकर कहा की डिलीवरी हम यही करा देंगे। ल्हाजा गरीबी की वजह से वे लोग उनके बहकावे में आ गए। लेकिन,प्रसव के दौरान नवजात बच्चे की मौत हो गई। परिजनों का आरोप है कि एएनएम की लापरवाही की वजह से डिलेवरी के दौरान शिशु की मौत हो गयी।
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मृतक शिशु की बुआ दया शर्मा का आरोप है की स्वास्थ्य विभाग ने गांव की ही दो आशाओ रामवती शर्मा और जगवती को फर्जी तरीके से उपकेंद्र को चलाने का ठेका दे रखा है। उसमें जो भी रुपया कमाते हैं,वो महीने पर आपस में बांट लेते हैं। गुस्साए परिजनों ने अवैध तरीके से उपकेंद्र चला रही आशाओं के खिलाफ कार्रवाई की भी मांग की है ।
आपको बता दे की गांव में ही एक स्वास्थीय उपकेंद्र बना हुआ है, जिसमें एक डॉक्टर आरजू तैनात है। जो कि काफी समय से छुट्टी पर गयी हुई है। डॉक्टर ने उपकेंद्र की चाबी रिटायर्ड एएनएम को दे रखी है। ये एएनएम ही समय-समय पर उपकेंद्र खोलती है और खोलकर खेतों पर काम करने चली जाती हैं। इस हादसे से गुस्साए परिजनों ने स्वास्थ्य विभग को खूब खरी खोटी सुनाई और विभाग पर लापरवाही का आरोप लगाया है।