बिल्ट-वेल सॉल्यूसन कंपनी में बतौर प्रोजेक्ट इंजीनियर अरुण कुमार शाह प्रियंका नगर कोलार में रहते हैं। वह मूलत: सिंगरौली के रहने वाले हैं। कुछ महीने पहले उनकी शादी हुई है। पत्नी ललिता प्रयागराज में नर्सिग टीचर हैं, उनका तबादला भोपाल हो गया। लिहाजा, उन्होंने इलाहाबाद के गैस कनेक्शन ( gas connection ) को भोपाल ट्रांसफर कराने के लिए चार दिन पहले 29 जुलाई को सर्च किया।
इस दौरान ललिता के पति अरुण के मोबाइल पर मोबाइल नंबर 6289827893 से लिंक आई। जब अरुण ने उक्त लिंक पर क्लिक की, तो नजदीक के कई गैस एजेंसी (
gas agency ) के नंबर खुल गए। जब उक्त नंबर पर फोन किया, तो उसने कहा कि आसानी से गैस कनेक्शन ट्रांसफर (
Gas Connection transfer ) हो जाएगा। इस बीच लिंक पर कुछ एमाउंट जमा करने का ऑप्शन आया।
अरुण ने जब बात की तो फोन उठाने वाले साहिल शर्मा ने एमाउंट लेने से इंकार करते हुए कहा कि 10 रुपए जमा कर दो। जैसे ही अरुण ने 10 रुपए जमा किए, उनके पास 10 मिनट के अंदर छह ट्रांजेक्शन के मैसेज आए, जिनमें पहले और दूसरी बार में 25-25 हजार रुपए और फिर आखिरी के चार ट्रांजेक्शन में 50 हजार रुपए निकलने के मैसेज आए। ठगी का शिकार होने पर अरुण ने सायबर सेल और क्राइम ब्रांच में ठगी की शिकायत की है।
क्राइम ब्रांच (
crime branch ) पहले से इस तरह के जालसाजी मामलों में एडवायजरी जारी कर चुकी है। यदि किसी तरह की लुभावने मैसेज या लिंक आपके नंबर पर आती है, तो कभी नहीं खोलें। कोई भी एजेंसी आपको किसी तरह का एमाउंट जमा कराने के लिए नहीं कहती। आप सुनिश्चित कर लें कि जिससे आप बात कर रहें है, वह ऑर्थराइज्ड है या नहीं। तभी आप लिंक खोलें।
– निश्चल झारिया, एएसपी क्राइम ब्रांच