कैलाश विजयवर्गीय ने कहा- मुझे लगता है कि अधिकारियों को अहंकारी नहीं होना चाहिए, उन्हें जनप्रतिनिधियों से बात करनी चाहिए। मैंने इसकी कमी देखी है। ऐसे मामलों में दोनों को समझना चाहिए जिससे की इस प्रकार की घटना दोबारा नहीं घटें। कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि मैं एक बार पार्षद, मेयर और विभाग मंत्री था, हम बारिश के दौरान किसी भी आवासीय भवन को ध्वस्त नहीं करते हैं। मुझे नहीं पता कि अगर सरकार द्वारा इस मामले में कोई आदेश जारी किया था, अगर ऐसा हुआ है, तो यह उनकी ओर से गलती है।
नगर निगम पर भी साधा निशाना
कैलाश विजयवर्गीय ने इंदौर नगर निगम पर भी निशाना साधा है। इंदौर नगर निगम पर निशाना साधते हुए कैलाश विजयवर्गीय ने कहा कि अगर कोई बिल्डिंग गिराई गई, तो उसके निवासियों के लिए एक ‘धर्मशाला’ में रहने की व्यवस्था की जाती है। नगर निगम ने इस मामलों को ठीक से नहीं सम्भाला। मौके पर महिला स्टॉफ और महिला पुलिस होनी चाहिए थी। यह अपरिपक्व कदम था मुझे उम्मीद है ऐसा दोबारा नहीं होना चाहिए। बता दें कि इंदौर नगर निगम में भाजपा का कब्जा है और भाजपा विधायक मालिनी गौड़ इंदौर नगर निगम की मेयर भी हैं। कैलाश विजयवर्गीय और मालिनी गौड़ की तल्खियों की कई खबरें सामने आ चुकी हैं।
क्या है मामला
26 जून को आतिक्रमण करने आए नगर निगम कर्मचारियों को भाजपा विधायक आकाश विजयवर्गीय ने बैट से पीटा था। जिसके बाद मामला बढ़ गया था। मामला बढ़ने के बाद आकाश विजयवर्गीय को गिरफ्तार किया गया था। शनिवार को उन्हें भोपाल की विशेष अदालत से जमानत मिली थी उसके बाद वो रविवार सुबह इंदौर जिला जेल से रिहा किए गए थे।