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दांत और मसूड़ों से खून बह रहा है तो कराएं चेकअप, आपका बच्चा हो सकता है ‘हीमोफीलिया’ का शिकार

27 अप्रेल को भोपाल समेत आठ हब सेंटर में लगेंगे कैंप……

भोपालApr 17, 2024 / 12:10 pm

Astha Awasthi

Hemophilia

Hemophilia

भोपाल। हीमोफीलिया से ग्रसित मरीजों को बीमारी से लड़ना पड़ता है। यदि बच्चे के दांत निकल रहे हैं और मसूड़ों से खून बह रहा है तो जांच कराएं। यह हीमोफिलिया बीमारी के लक्षणों में से एक है। जीएमसी के हीमोफीलिया सेंटर प्रभारी डॉ. आरके निगम बताते हैं कि प्रदेश में 5 हजार से ज्यादा मरीज हैं। जिनमें से करीब 20 फीसदी रजिस्टर्ड हैं। जिसमें से भोपाल में 400 के करीब मरीज रजिस्टर्ड हैं। बता दें, आज विश्व हीमोफीलिया दिवस है।
बीते तीन सालों में हीमोफीलिया के मरीजों की संया बढ़ी है। डॉ. निगम के अनुसार इलाज की सुविधा के साथ लोगों में जागरुकता बढ़ रही है। भोपाल समेत प्रदेश 8 हब सेंटरों में 27 अप्रेल को विशेष कैंप लगाया जाएगा। इसके अलावा वहीं गांधी चिकित्सा महाविद्यालय के हीमोफीलिया सेंटर में इस बीमारी का मुत इलाज किया जा रहा है।

इस वजह से होती है बीमारी

डॉक्टरों के अनुसार फैक्टर 8 की कमी से हीमोफीलिया ए होता है, यह पांच हजार में एक व्यक्ति को होता है। वहीं फैक्टर 9 की कमी से हीमोफीलिया बी होता है, जो 10 हजार में एक को होता है। इस बीमारी वाहक महिलाएं होती हैं। लेकिन उन्हें बीमारी होने की संभावनाए न के बराबर हैं। लेकिन, उनके बेटे को यह बीमारी होने की संभावना अधिक होती है।

जांच ही एक विकल्प

माता-पिता गर्भ में पल रहे शिशु की छह से आठ हफ्ते या फिर 18 से 20 सप्ताह के बीच जरूर जांच कराएं। इससे यह पता चल जाएगा कि बच्चे को हीमोफीलिया की बीमारी है या नहीं। इसके बाद वह अगर चाहें तो गर्भपात करा सकते हैं।

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