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सावधान ! गाड़ियों का हो रहा फर्जी बीमा, ऑटो ड्राइवर बना शिकार

– वाहन खरीदने से पहले सावधान!- गाड़ियों का हो रहा फर्जी बीमा- ऑटो ड्राइवर बना शिकार- महीनों से इंसाफ के लिए भटक रहा ऑटो ड्राइवर

भोपालJan 22, 2023 / 07:45 pm

Faiz

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सावधान ! गाड़ियों का हो रहा फर्जी बीमा, ऑटो ड्राइवर बना शिकार

आमतौर पर देश का हर जिम्मेदार नागरिक वाहन खरीदने के बाद उसे चलाने से पहले अपनी गाड़ी का इंश्योरेंस कराता है। इंश्योरेंस का फायदा ये भी है कि, किसी भी हादसे के दौरान होने वाली टूटफूट या अन्य हानि की भरपाई इंश्योरेंस से मिलने वाली रकम से की जा सके। वहीं, सरकारी नियम के अनुसार, अब नया वाहन खरीदते समय शोरूम में ही शुल्क जमा करके इंश्योरेंस कराने की व्यवस्था कर दी गई है। हालांकि, मध्य प्रदेश की राजधानी भोपाल में शोरूम से होने वाली इंश्योरेंस पॉलिसी में बड़ी धोखाधड़ी का मामला सामने आया है।


दरअसल, राजधानी भोपाल में रहने वाले एक शख्स ने शोरूम से नया ऑटो खरीदा यहां ऑटो के मूल कीमत के साथ उससे इंश्योरेंस का शुल्क भी वसूला गया। सबकुछ ठीक था, लेकिन एक दिन हादसे के दौरान उसी खरीदे गए ऑटो में टूटफूट हो गई। इसके बाद ऑटो मालिक ने निसंकोच होकर अपने वाहन के नुकसान का क्लैम आवेदन किया, ताकि नुकसान की भरपाई हो सके। लेकिन, आवेदन के दौरान ऑटो मालिक को पता चला कि, गाड़ी खरीदते समय शोरूम की ओर से रुपए लेकर जो इंश्योरेंस किया गया था, दरअसल वो पॉलिसी नकली थी।


अगर आप भी नया वाहन खरीदने का मन बना रहे हैं तो ये खबर आपके काम की है। राजधानी भोपाल में ऑटो मालिक के साथ इंश्योरेंस कंपनी द्वारा धोखाधड़ी का मामला सामने आया है। दरअसल, पिछले साल 48 वर्षीय मनोज साहू ने ऑटो खरीदा था, जिसका ऑटो शोरूम द्वारा तत्काल ही शुल्क लेकर इंश्योरेंस भी किया गया था। वहीं, महीनों बाद कुछ बदमाशों ने उसके ऑटो में तोड़फोड़ कर दी। इसके बाद जब ऑटो मालिक ने बीमा कंपनी से संपर्क किया तो कंपनी से पता चला कि, उसके नाम पर कोई पॉलिसी हुई ही नहीं है। पीड़ित ने जेके रोड पर स्थित श्रेष्ठ बजाज ऑटोमोबाइल के मालिक के खिलाफ अशोका गार्डन थाने में दर्ज करा दी।

 

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क्या है मामला ?

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पुलिस में दर्ज शिकायत के अनुसार, बोपाल की शिवनगर कॉलोनी में रहने वाले 48 वर्षीय मनोज साहू ने 15 मार्च 2022 को शहर के जेके रोड पर स्थित श्रेष्ठ बजाज ऑटोमोबाइल से सीएनजी मेक्जिमा जेट (ऑटो) खरीदा था। यहां कंपनी ने सरकारी नियमों का हवाला देकर वाहन का अनिवार्य इंश्योरेंस कराने की बात कही। इसपर ऑटो चालक ने रजामंदी दी तो कंपनी की ओर से उचित शुल्क लेकर वाहन का इंश्योरेंस भी कर दिया। इसी दौरान कुछ महीनों बाद 4 सितंबर 2022 की रात घर के सामने ही खड़े ऑटो में कुछ बदमाशों द्वारा ऑटो में तोड़फोड़ कर दी। मनोज ने पहले इसकी शिकायत पुलिस में दर्ज कराई फिर, बीमा कंपनी को इसकी जानकारी दी। कंपनी ने उनका बीमा पॉलिसी नंबर 01631203880000 चेक किया। पता चला कि, बीमा पॉलिसी रजिस्टर्ड ही नहीं है।

 

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कंपनी मालिक पर केस दर्ज

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वहीं, मामले को लेकर कंपनी के अधिकारियों का कहना है कि, श्रेष्ठ बजाज ऑटोमोबाइल ने पॉलिसी रजिस्ट्रेशन के लिए जो चेक दिया था, वो बाउंस हो गया था। पॉलिसी 6 महीने पहले कैंसिल हो गई थी। इसकी जानकारी कंपनी की ओर से श्रेष्ठ बजाज ऑटोमोबाइल प्रा.लि. को भेजी दी गई थी। इसपर मनोज ने इसकी शिकायत पुलिस, सीएम हेल्पलाइन में कर दी। जांच के बाद अशोका गार्डन थाना पुलिस ने श्रेष्ठ बजाज के मालिक के खिलाफ केस दर्ज कर लिया।


वर्कशॉप में खड़ी करवाली गाड़ी, पर नहीं किया सुधार

मनोज ने पुलिस को दिए आवेदन में बताया कि श्रेष्ठ बजाज शोरूम के कर्मचारियों को जब उसने खुद के साथ हुए फर्जीवाड़े के बारे में बताया तो वे बहाने बनाने लगे। शोरूम के अधिकारियों ने कहा कि परेशान होने की जरूरत नहीं है। गाड़ी में पूरा काम करके देंगे। मनोज के अनुसार, 2 दिन तक गाड़ी श्रेष्ठ बजाज के वर्कशॉप में खड़ी रही, लेकिन उस अवधि में गाड़ी में कोई काम नहीं किया गया। इसके बाद कंपनी की ओर से 6 सितंबर को ऑटो भी मनोज को लौटा दिया गया।

पीड़ित ऑटो मालिक मनोज का कहना है कि, उसने बीमा के श्रेष्ठ बजाज शोरूम को 9 हजार 34 रुपए दिए थे। इसकी रसीद भी कंपनी की ओर से उसे दी गई थी। जब श्रेष्ठ बजाज का फर्जीवाड़ा सामने आया तो उसने दूसरा बीमा करा दिया। इसमें गाड़ी की वैल्यू कम कर दी गई। खास बात तो ये है कि, नई बीमा पॉलिसी में भी गाड़ी का कोई काम नहीं किया गया।


अक्टूबर से लगा रहा है पुलिस के चक्कर

पीड़ित के अनुसार, उसने सबसे पहले 3 अक्टूबर 2022 को डीसीपी जोन-2 में इस संबंध में शिकायती आवेदन दिया था। लेकिन बाद में पता चला कि, ये मामला जोन-2 के कार्य क्षेत्र में नहीं आता। सुनवाई नहीं होने पर 12 अक्टूबर को मनोज ने इसकी शिकायत सीएम हेल्पलाइन पर दर्ज करा दी। इसके बाद 25 अक्टूबर को अशोका गार्डन थाने के एसआई रमेश शर्मा ने सीएम हेल्पलाइन की शिकायत की जांच के लिए मनोज से संपर्क किया। इसकी जानकारी दी।

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