विजयपुर विधानसभा पर करारी शिकस्त के बाद बीजेपी प्रत्याशी रामनिवास रावत ने भीतरघात का आरोप लगाया था। हार के बाद उन्हें मंत्री पद भी छोड़ना पड़ा। रामनिवास रावत ने कहा कि मुझे आम जनता ने नहीं, कुछ नेताओं ने हराया। मंत्री बनने के बाद मेरा बढ़ता कद बीजेपी के कुछ लोगों को सहन नहीं हुआ।
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पूर्व वन मंत्री रामनिवास रावत के इस बयान पर कांग्रेस ने चुटकी ली। कांग्रेस मीडिया विभाग के उपाध्यक्ष अब्बास हफीज ने कहा कि बीजेपी में आपसी सिर फुटव्ववल की स्थिति है। रावत के बयान से साफ जाहिर होता है कि बीजेपी में कुछ गड़बड़ है, पार्टी दो गुटों में बंट चुकी है।
कांग्रेस प्रवक्ता ने यह भी कहा कि रामनिवास रावत बीजेपी सरकार की नाकामी की वजह से पराजित हुए। इतना ही नहीं,
प्रवक्ता अब्बास हफीज ने यह भी कहा कि बीजेपी में आखिर किन लोगों को रावत के बढ़ते कद से आपत्ति थी, इसका जवाब देना चाहिए। क्या ज्योतिरादित्य सिंधिया को या फिर प्रदेश अध्यक्ष को उनसे दिक्कत थी?
विजयपुर के बहाने पार्टी नेताओं पर कांग्रेस के प्रहार पर बीजेपी भी मैदान में उतर आई। पार्टी ने प्रदेशाध्यक्ष जीतू पटवारी और नेता प्रतिपक्ष उमंग सिंघार के बीच कथित कोल्ड वार पर कांग्रेस को घेरा। बीजेपी प्रवक्ता मिलिन भार्गव ने कहा कांग्रेस नेता बौखला गए हैं। विजयपुर की जीत का श्रेय लेने की होड़ मची है। प्रदेश अध्यक्ष खुद जीत का सेहरा बांध रहे हैं जबकि नेता प्रतिपक्ष किसी और को जीत का श्रेय दे रहे हैं। बीजेपी प्रवक्ता ने यह भी कहा कि विजयपुर में हार का अंतर बहुत कम है, अगली बार हम जीतेंगे।