जल संसाधन विभाग बांध की दाईं मुख्य नहर में पहले पानी छोड़ेंगे। यह पानी मांडल और बनेड़ा तक पहुंचेगा। नहरों में पानी छोड़ने से सिंचाई के लिए पर्याप्त पानी उपलब्ध होगा। गत दिनों मेजा बांध की जल वितरण समिति की बैठक में नहरों में पानी छोड़ने का निर्णय हुआ था।
गौरतलब है कि 30 फीट भराव क्षमता के
मेजा बांध में इस बार 26.30 फीट से अधिक पानी आया है। 26.30 फीट में से पेयजल के लिए 341.99 एमसीएफटी पानी रिजर्व रहेगा। सिंचाई के लिए उपलब्ध कुल पानी 1367.99 एमसीएफटी का नहरों में जल संचालन होगा। प्रतिदिन 16 एमसीएफटी पानी दो नहरों दाईं मुख्य व बाईं मुख्य नहर में प्रवाहित किया जाएगा। नहर संचालन के लिए दो महीने 25 दिवस रहेंगे।
नहरों की सफाई हो
उपभोक्ता अधिकार संगठन हलेड़ के अध्यक्ष कैलाश सुवालका ने पानी छोड़ने से पहले मेजा बांध की नहरों की सफाई की मांग की। सुवालका ने बताया कि सफाई के अभाव में नहरों में कूड़े करकट के जगह-जगह ढेर लगे हुए हैं। टूटी-फूटी नहरों में पानी छोड़ने के कारण पानी की व्यर्थ बर्बादी होगी।
सिंचाई के लिए यह रहेगी टाइमलाइन
बांध की दाईं मुख्य नहर (मांडल की ओर) में 11 नवंबर से 21 दिसंबर तक (40 दिवस) तथा 5 जनवरी से 14 फरवरी 2025 तक (40 दिवस), बाईं मुख्य नहर (भीलवाड़ा की ओर आने वाली) से 13 नवंबर से 22 दिसंबर तक (40 दिवस) तथा 7 जनवरी से 17 फरवरी 2025 तक (40 दिवस) सप्लाई की जाएगी।