0 विधानसभा में करारी शिकस्त के बाद सीएम भूपेश बघेल को उनके ही घर में घेरने की रणनीति की तहत लोकसभा चुनाव में विजय बघेल को टिकट दी गई।चुनाव में वे सिर्फ सफल रहे, बल्कि रिकॉर्ड मतों से जीत दर्ज की।
0 सीएम भूपेश बघेल और 3 दिग्गज मंत्री भी अपने इलाका होने के साथ विधानसभा में 8 सीटों में कब्जे के कारण कांग्रेस जीत पक्की मानकर चल रही थी, लेकिन सीएम सहित तीनों मंत्री तक अपने इलाके में उनके विजयी रथ को रोक नहीं पाए।
0 बघेल ने लोकसभा क्षेत्र में पहली बार न सिर्फ सभी विधानसभा क्षेत्रों में भाजपा को जीत दिलाई, बल्कि क्षेत्र में सर्वाधिक मतों से जीतने का रिकार्ड भी अपने नाम किया।इसके अलावा वे प्रदेश में सबसे ज्यादा वोट से चुनाव जीतने वाले सांसद भी रहे।
0 सीएम भूपेश बघेल कांग्रेस के प्रदेश अध्यक्ष भी है। कुर्मी समाज में भूपेश बघेल से अच्छी पकड़ विजय बघेल की मानी जाती है। सीएम की राजनीतिक के साथ सामाजिक रूप से घेराबंदी में सक्षम है।
0 अभी से माना जा रहा है कि विजय बघेल ही सीएम को उनके घर में चुनौती दे सकते हैं। ऐसे में उन्हें सीएम के खिलाफ अगले विधानसभा में उतारा जा सकता है। इससे पहले विजय बघेल वर्ष 2009 के चुनाव में सीएम भूपेश बघेल को उनके गृह क्षेत्र पाटन में पराजित भी कर चुके है।
नवनिर्वाचित सांसद विजय बघेल इससे पहले प्रदेश सरकार में संसदीय सचिव की अहम जिम्मेदारी संभाल चुके है। उन्हें वर्ष 2009 के चुनाव में सीएम को हराने के इनाम के रूप यह जिम्मेदारी दी गई थी। वे रमन सरकार में 5 साल तक सहकारिता व जेल विभाग के संसदीय सचिव रहे।
सांसद विजय बघेल को मोदी केबिनेट में मंत्री पद दिलवाने में राज्य सभा सांसद सरोज पांडेय की अहम भूमिका हो सकती है। संगठन में अहम जिम्मेदारी और मोदी-शाह से नजदीकी के कारण उनका सुझाव कारगर हो सकता है। हालांकि उनके भी मंत्री पद की दावेदारी की बात सामने आ रही है।
नवनिर्वाचित सांसद विजय बघेल को मोदी केबिनेट में जगह मिलती है तो वे जिले के तीसरे और भाजपा के पहले केंद्रीय मंत्री हो जाएंगे।इससे पहले कांग्रेस के स्व. सांसद चंदूलाल चंद्राकर इंदिरा केबिनेट में विदेश मंत्री और सांसद मोतीलाल वोरा पूर्व प्रधानमंत्री राजीव गांधी की सरकार में स्वास्थ्य व नागरिक उड्डयन मंत्री रहे।