लोकनृत्य से की अगवानी : राज्यपाल मिश्र दोपहर करीब 1.20 बजे समारोह स्थल पहुंचे। यहां लोक कलाकारों ने पारम्परिक लोक नृत्य की प्रस्तुतियां देकर राज्यपाल का अभिनंदन किया गया। सांसद ने उनकी अगवानी की। उन्होंने दोपहर 1.47 बजे अपना उद्बोधन शुरू किया और करीब 10 मिनट तक मंच पर दिव्यांगों के लिए बोले। दोपहर 1.56 बजे उन्होंने अपना उद्बोधन समाप्त किया। इसके बाद उन्होंने संविधान की प्रस्तावना एवं संविधान के मूल कर्तव्यों का वाचन किया। दिव्यांजन को स्कूटी वितरित करने के बाद वह दोपहर करीब 2 बजकर 3 मिनट पर समारोह स्थल से रवाना हो गए।
दिव्यांग सेवा भगवत सेवा :
राज्यपाल मिश्र ने अपने अनुभव भी साझा किए। उन्होंने बताया कि देवरिया क्षेत्र में गरीबी और अन्य कारणों से काफी संख्या में दिव्यांगजन थे। उनके उपचार के लिए कई बार शिविर भी लगाए गए। इससे उनके जीवन स्तर में बदलाव आया। दिव्यांग सेवा भगवत सेवा के समान है।
हैलिपैड पर की अगुवानी : समारोह से पूर्व राज्यपाल मिश्र हेलीकॉपर से श्रीसीमेंट के हैलीपैड पहुंचे। यहां जिला कलक्टर विश्व मोहन शर्मा, पुलिस महानिरीक्षक संजीब नार्जरी, अतिरिक्त संभागीय आयुक्त सत्तार खान, एसडीओ जसमीतसिंह संधु, अतिरिक्त जिला कलक्टर हीरालाल मीणा, जिला पुलिस अधीक्षक कुंवर राष्ट्रदीप, श्रीसीमेंट के संजय मेहता, अरविंद खींचा, विनय सक्सेना, निरज शर्मा एवं श्याम शर्मा समेत अन्य प्रतिनिधि मौजूद रहे।