पंचायतों में होने वाले बैठक भी जनप्रतिनिधियों की राय के मुताबिक न होकर सचिवों के हिसाब से होता है। शासकीय योजनाओं का क्रियान्वयन भी समय से नहीं हो पाता है। इन सचिवों को हटाने की मांग कलक्टर से लेकर तमाम अफसरों से की जा चुकी है लेकिन इसके बाद भी अफसर इन्हें इसलिए नहीं हटा पाते हैं क्योंकि सरकारी पैसे में होने वाले बंदरबांट में उन्हें उनका हिस्सा भी मिल जाता है।
जांच के नाम पर सिर्फ कमेटी बनती है
जनपद राजपुर के कई पंचायत सचिव के विरुद्ध वित्तीय अनियमितता, स्तरहीन निर्माण, पूर्व में स्वच्छ भारत मिशन के तहत निर्मित शौचालय व अन्य मामलों में ग्रामीणों व जनप्रतिनिधियों ने शिकायत जनपद व जिला पंचायत में प्रस्तुत की। शिकायतों की जांच के नाम पर टीम भी गठित होती है, लेकिन न जांच और न ही किसी पर कोई कार्यवाही हुई है।
राजपुर जनपद पंचायत अतिरिक्त प्रभार की ऐसी है स्थिति
सचिव का नाम पदस्थापना अतिरिक्त प्रभार अतिरिक्त प्रभार की दूरी
अगस्तुस टोप्पो लाऊ अमदरी 20 किमी
दिलीप जायसवाल अमड़ीपारा ओकरा 25 किमी
नन्दलाल यादव कुन्दीकला शिवपुर 2 किमी
पुष्पा गुप्ता बुढ़ाबगीचा कुन्दीखुर्द 10 किमी
नरेन्द्र जायसवाल बरियों धंधापुर 20 किमी
अषोक कुमार चिलमाकला नरसिंहपुर 5 किमी
नोहर साय बाड़ीचलगली उलिया 90 किमी
प्रदीप जायसवाल परसवारकला रेवतपुर 5 किमी
प्रेम जायसवाल मदनेश्वरपुर करजी 15 किमी
कपुर साय ककना बदोली 18 किमी
देवकुमार करमडीहा सेमरा कठरा 4 किमी
रामचंद यादव चरगढ़ डिगनगर 4 किमी
मुकेश कुमार सोनी कर्रा उफिया 20 किमी
रामदेव राम चौरा घटगांव 30 किमी
सुनिल तिवारी झिंगो ठरकी 6 किमी
पंचायत सचिव की पदस्थापना व अतिरिक्त प्रभार जिला पंचायत से होने के कारण इस संबंध में कुछ कह पाना मुश्किल है। अतिरिक्त प्रभार कौन से पंचायत सचिव को मिलना चाहिए, ऐसा कोई प्रस्ताव हमारे कार्यालय से नहीं गया है।
यशपाल सिंह, जनपद सीईओ, राजपुर