पहले भी कोर्ट दे चुका है भुगतान का आदेश इस बीच ठेकेदार वीएस एंटरप्राइजेज के संचालक विक्रम चौधरी ने न्यायालय की शरण ली। न्यायालय ने आदेश दिए कि ठेकेदार को नवम्बर 2015 से दिसम्बर 2016 तक का 23 लाख के अलावा दो लाख 25 हजार रुपए ब्याज राशि का भुगतान किया जाए। 22 मई 2019 को भी न्यायालय ने भुगतान के आदेश दिए लेकिन अधिकारियों के कानों पर जूं तक नहीं रेंगी। अब 26 सितम्बर 2019 को किशनगढ़बास अपर जिला न्यायाधीश संख्या एक संतोष कुमार मित्तल ने खैरथल पालिक भवन की कुर्की करके भुगतान करने के आदेश दिए हैं।
ये है पूरा मामला खैरथल नगर पालिका के वार्ड 25 में वीएस एंटरप्राइजेज ने पार्क की चारदीवारी करने का ठेका लिया था। 21 सितम्बर 2015 को कार्य पूरा कर 23 लाख 10 हजार 985 रुपए का बिल पेश किया। लेकिन, कुछ भाजपा नेताओं ने घटिया निर्माण की शिकायत की। पालिका के अधिकारियों ने पीडब्ल्यूडी से गुणवत्ता जांच कराई तो उन्होंने निर्माण बेहतरीन बताया, लेकिन राजनीतिक इशारे पर काम कर रहे अधिकारियों ने भुगतान नहीं किया और थर्ड पार्टी जांच की बात करते रहे। जबकि जांच रिपोर्ट आ चुकी थी। राजनीतिक मंशा के मुताबिक निर्माण को घटिया
साबित करने में नाकामी मिली तो अधिकारियों ने जांच एमएनआईटी को सौंप दी, लेकिन वहां से भी गुणवत्ता ठीक होने की रिपोर्ट आई।
जांच में किया गुमराह इधर फर्म ने भी भुगतान अटकाने की शिकायत स्वायत शासन मंत्री, निदेशक व लोकपाल से की। शिकायत की जांच के दौरान अधिकारियों से पूछताछ हुई तो पालिका के तत्कालीन अधिशासी अधिकारी राहुल अग्रवाल ने यह कहकर गुमराह किया कि जांच पेंडिंग है। इसके लिए पूर्व अधिशासी अधिकारी राहुल अग्रवाल को 17 सीसीए नोटिस दिया
गया है।