बिना नॉक्स का बना था घर 10 जून को हिंसा में शामिल मास्टरमाइंड आरोपी जावेद पंप का दो मंजिला मकान प्रयागराज विकास प्राधिकरण ने बिना नक्शा के बनवाने के आरोप में बुलडोजर लगाकर तोड़ दिया था, जबकि जावेद पंप की पत्नी परवीन फातिमा ने आरोप लगाया कि मकान उनके नाम है और प्रयागराज विकास प्राधिकरण ने बिना नोटिस दिए छुट्टी के दिन शनिवार और रविवार को कार्यवाही पूर्ण दिखाकर बुलडोजर लगाकर तोड़ दिया। इलाहाबाद हाईकोर्ट से याची की तरफ से यह मांग की गई कि दोषी अधिकारियों को दंडित किया जाए साथ ही क्षतिपूर्ति की जाए तथा जब तक मकान बने उन्हें सरकारी आवास आवंटित किया जाए।
पीडीए की तरफ सरकारी अधिवक्ता ने रखा पक्ष मामले की सुनवाई करते हुए न्यायमूर्ति अंजनी कुमार मिश्र व न्यायमूर्ति एसडब्लू मियां के कोर्ट में यह सुनवाई हुई सरकार की ओर से एडवोकेट जनरल ने पक्ष रखा। इलाहाबाद हाईकोर्ट ने मामले की गंभीरता को देखते हुए 24 घंटे मैं जवाब मांगा था। जिसकी सुनवाई इलाहाबाद हाईकोर्ट करेगा।
जावेद पंप की पत्नी ने दाखिल की है रीट प्रयागराज विकास प्राधिकरण द्वारा मकान गिराए जाने के बाद कुछ वकीलों ने लेटर पिटिशन के माध्यम से इस मामले को इलाहाबाद हाईकोर्ट में उठाया था जिस पर इलाहाबाद हाईकोर्ट ने लेटर पिटिशन को अस्वीकार कर दिया था और मामले में रेगुलर पिटीशन में आने को कहा था। इसी के बाद परवीन फातिमा की तरफ से याचिका दाखिल की गई। इसी मामले में यह याचिका न्यायमूर्ति सुनीता अग्रवाल की बेंच में आई थी जिसे उन्होंने सुनने से मना कर दिया था। याचिका से खंडपीठ ने अपने आप को अलग करने से दूसरी खंडपीठ ने की सुनवाई।