scriptअजमेर जिले में एबीवीपी का रहा दबदबा,एमडीएस यूनिवर्सिटी में भी कब्जा बरकरार | ABVP dominated in Ajmer district, MDS University occupied | Patrika News
अजमेर

अजमेर जिले में एबीवीपी का रहा दबदबा,एमडीएस यूनिवर्सिटी में भी कब्जा बरकरार

छात्रसंघ चुनाव 2019, एबीवीपी का कुशल चुनाव प्रबंध व छात्र नेताओं का जनसम्पर्क आया काम, एनएसयूआई को गुटबाजी व बगावत का भुगतना पड़ा खामियाजा,-देश में राष्ट्रवाद व केसरिया माहौल का भी छात्रसंघ चुनाव के नतीजों पर दिखा असर

अजमेरAug 28, 2019 / 04:00 pm

suresh bharti

ABVP dominated in Ajmer district, MDS University occupied

अजमेर जिले में एबीवीपी का रहा दबदबा,एमडीएस यूनिवर्सिटी में भी कब्जा बरकरार,अजमेर जिले में एबीवीपी का रहा दबदबा,एमडीएस यूनिवर्सिटी में भी कब्जा बरकरार,अजमेर जिले में एबीवीपी का रहा दबदबा,एमडीएस यूनिवर्सिटी में भी कब्जा बरकरार

अजमेर. देश में इन दिनों युवा वर्ग में राष्ट्रवाद का जज्बा सिर चढक़र बोल रहा है। केसरिया माहौल की भी छाया दिखी। केन्द्र में भाजपा की सरकार होने व जम्मू-कश्मीर से धारा ३७० हटाने के बाद से युवकों का रुझान तेजी से बदला है।
अजमेर जिले में छात्रसंघ चुनाव के नतीजे तो यही बयां कर रहे हैं। चुनाव प्रचार के दौरान जहां अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद का चुनाव प्रबंध व्यवस्थित, सटीक,प्रभावी व संयमित रहा,वहीं एनएसयूआई में गुटबाजी साफ दिखी। कोई बड़े छात्रनेता भी अधिक सक्रिय नहीं देखे गए। साथ में बगावत ने भी कोढ़ में खाज का काम किया।
नामांकन दाखिल करने के बाद से ही एबीवीपी चुनाव प्रचार, जनसम्पर्क,छात्र समस्याओं के मुद्दे व रणनीति में आगे रही। दूसरी ओर एनएसयूआई का चुनाव प्रबंध लचर रहा। इसके उम्मीदवार अपने पक्ष में कोई माहौल नहीं बना पाए। यही वजह रही कि अजमेर जिले के अधिकतर कॉलेज में एबीवीपी के प्रत्याशी विजयी रहे। प्रदेश में कांग्रेस की सरकार होने के बावजूद एनएसयूआई को छात्रसंघ चुनाव में मात खानी पड़ गई।
एमडीएस में काम आया आक्रामक प्रचार

अजमेर के महर्षि दयानंद विश्वविद्यालय में एबीवीपी के प्रत्याशी शुरू से ही आक्रामक रहे। चुनाव प्रचार की रणनीति छात्रों से सीधे संवाद, भावनात्मक लगाव व राष्ट्रवाद को अधिक महत्व देने की रही। इसी का परिणाम रहा कि यहां एबीवीपी ने फिर से अध्यक्ष पद पर कब्जा कर लिया। साथ में सभी पैनल पर भी जीत हासिल हुई। दूसरी ओर एनएसयूआई के कई छात्र नेता घर पर बैठे रहे।
चुनाव संचालन भी अव्यवस्थित रहा। चुनाव प्रचार में कोई खास माहौल नहीं दिखा। चुनाव नतीजों में एबीवीपी के रामेश्वर छाबा ने एनएसयूआई के शुभम चौधरी को शिकस्त दी। मतगणना में छाबा को ३४० व चौधरी को १६८ वोट मिले।
गल्र्स कॉलेज में एबीवीपी का दबदबा

वैसे अजमेर के गल्र्स कॉलेज में शुरू से ही अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद का प्रभाव रहा है। पिछले एक-दो वर्ष को छोड़ दें तो अधिकतर समय एबीवीपी के प्रत्याशी यहां जीतते आए हैं। यहां एनएसयूआई संगठित रूप से सक्रिय नहीं है। जबकि परिषद ने पूरे साल छात्राओं की समस्याओं को प्रमुखता से उठाया है। उसका लाभ छात्रसंघ चुनाव में मिला।
इस साल एबीवीपी की कांता जाखड़ अध्यक्ष चुनी गई। महासचिव पद पर भी परिषद की खुशबू सांखला विजयी रही। चुनाव परिणाम घोषित होते ही अभाविप समर्थक छात्राओं ने जमकर नारे लगाए।

पुष्कर,नसीराबाद व किशनगढ़ में भी परिषद का परचम
जिले के पुष्कर,किशनगढ़ व नसीराबाद कॉलेज छात्रसंघ चुनाव में भी एबीवीपी का दबदबा रहा। यहां एनएसयूआई के उम्मीदवारों को शिकस्त खानी पड़ गई। किशनगढ़ में एबीवीपी के अध्यक्ष पद के उम्मीदवार बलराम छणंग ११२६ वोट लेकर चुनाव जीते। इसी प्रकार नसीराबाद के राजकीय कॉलेज के सभी पदों पर एबीवीपी के प्रत्याशी चुनाव जीत गए।
पुष्कर में एबीवीपी के रूद्र प्रताप तंवर ने अपनी प्रतिद्वंदी एनएसयूआई समर्थक हेमलता चावला को 55 वोटों से पराजित कर अध्यक्ष पद पर जीत हासिल की। हालांकि उपाध्यक्ष महासचिव एवं संयुक्त सचिव के तीनों पद एनएसयूआई के खाते में गए हैं।
दसूरी ओर नसीराबाद के गोविंद सिंह गुर्जर राजकीय महाविद्यालय में हुए छात्रसंघ चुनाव में चारों पदों पर अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के प्रत्याशी विजय रहे। अध्यक्ष पद पर करण यादव को 406 तथा युवराज गुर्जर को 349 मत मिले वहीं उपाध्यक्ष पद पर देवानंद दुलानी को 297 तथा लाजवंती टाक को 436 मत प्राप्त हुए। महासचिव पद पर भावना को 348 तथा नवीन खींची को 387 वोट प्राप्त हुए। संयुक्त सचिव पद पर राखी सिंदल को 315 तथा वंश गॉड को 423 मत प्राप्त हुए। मतगणना के बाद विजय हुए प्रत्याशियों को पदों की शपथ दिलाई। वहीं मतगणना के दौरान पुलिस प्रशासन मय जाप्ते के मौजूद रहा तथा जुलूस पर रोक लगाई।
श्रमजीवी कॉलेज में भी एबीवीपी

राजकीय श्रमजीवी कॉलेज में अखिल भारतीय विद्यार्थी परिषद के हेमंत अध्यक्ष चुने गए। मतगणना में एबीवीपी प्रत्याशी को १७ वोट मिले। जबकि प्रतिद्वंद्वी उम्मीदवार को ०९ मत ही मिल पाए। इस तरह हेमंत ०८ वोटों से विजयी घोषित किए गए।
केकड़ी में अध्यक्ष/उपाध्यक्ष पद पर निर्दलीय जीते

केकड़ी के राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय में एबीवीपी को महासचिव और संयुक्त सचिव पद पर ही संतोष करना पड़ा। यहां अध्यक्ष पद पर निर्दलीय नंदलाल खटीक व उपाध्यक्ष पद पर नदीम अख्तर चुनाव जीते हैं। एबीवीपी के सीताराम माली महासचिव व रचना बैरवा संयुक्त सचिव पद पर विजयी घोषित किए गए।
डीएवी कॉलेज के सभी पदों पर निर्दलीय पैनल जीता

अजमेर के डीएवी कॉलेज में छात्रसंघ चुनाव के नतीजे चौंकाने वाले रहे। यहां प्रमुख छात्र संगठन एबीवीपी व एनएसयूआई को एक भी उम्मीदवार चुनाव नहीं जीत पाया। यहां अध्यक्ष पद पर निर्दलीय सीताराम चौधरी,उपाध्यक्ष पद पर सोहेल खान, महासचिव पद पर प्रमोद चौहान व संयुक्त सचिव पद पर पिंकू कुमार जाट चुनाव जीते हैं।
सरवाड़ ने बचाई लाज

अजमेर जिले में केवल सरवाड़ कन्या महाविद्यालय में ही एनएसयूआई को सफलता मिली है। एक ओर पूरे जिले में जहां एबीवीपी का दबदबा रहा। वहीं सरवाड़ में एनएसयूआई का पूरा पैनल चुनाव जीता है। अध्यक्ष पद पर पूजा शर्मा,उपाध्यक्ष पद पर संध्या कंवर,महासचिव पद पर शबनम टांक व संयुक्त सचिव पद पर ममता विजयी रही। चुनाव नतीजे के बाद विजयी उम्मीदवारों के समर्थकों ने जमकर नारे लगाकर खुशी जाहिर की।
यहां के नतीजे शेष

सम्राट पृथ्वीराज चौहान राजकीय महाविद्यालय अजमेर व ब्यावर के राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय में छात्रों की संख्या अधिक होने पर मतगणना में समय लगा। दोनों जगह शाम ४ बजे तक वोटों की गिनती जारी थी। इसके चलते चुनाव परिणाम या रुझान का कोई पता नहीं चल पाया।

Hindi News / Ajmer / अजमेर जिले में एबीवीपी का रहा दबदबा,एमडीएस यूनिवर्सिटी में भी कब्जा बरकरार

ट्रेंडिंग वीडियो